विदेश राज्यमंत्री राजकुमार रंजन सिंह ने एक लिखित उत्तर में राज्यसभा को बताया कि सरकार ब्रह्मपुत्र नदी से संबंधित सभी घटनाक्रमों की सावधानीपूर्वक निगरानी करती है, जिसमें चीन द्वारा जलविद्युत परियोजनाओं को विकसित करने की योजना भी शामिल है, जिसमें जांगमू में एक परियोजना को अक्टूबर 2015 में पूरी तरह से चालू घोषित किया गया था।
उन्होंने यह जानकारी अगप के बीरेंद्र प्रसाद वैश्य के एक सवाल के जवाब में दी।
सिंह ने यह भी कहा कि अपनी 12वीं पंचवर्षीय योजना (2011-2015) में, चीन ने तिब्बत स्वायत्त क्षेत्र में ब्रह्मपुत्र नदी की मुख्य धारा पर तीन और जलविद्युत परियोजनाओं (जियाचा, डागू और जिएक्सू) को विकसित करने की योजना बनाई है। तीनों में से जियाचा में पनबिजली परियोजना की पहली इकाई अगस्त 2020 में चालू हो गई थी। यह समझा जाता है कि डागू जलविद्युत परियोजना आंशिक रूप से चालू है।
मार्च 2021 में चीन ने अपनी 14वीं पंचवर्षीय योजना को अपनाया जिसमें ब्रह्मपुत्र नदी की निचली पहुंच पर जल विद्युत विकास की योजनाओं का उल्लेख है।
मंत्री ने यह भी कहा कि एक निचले तटवर्ती राज्य के रूप में, सीमा पार नदियों के पानी के लिए काफी स्थापित उपयोगकर्ता अधिकारों के साथ, भारत ने लगातार अपने विचारों और चिंताओं से चीनी अधिकारियों को अवगत कराया है। सरकार ने उनसे यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया है कि अपस्ट्रीम क्षेत्रों में किसी भी गतिविधि से डाउनस्ट्रीम राज्यों के हितों को नुकसान न पहुंचे।
--आईएएनएस
एसजीके
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