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बालाकोट में ढेर आतंकियों की संख्या पर सियासत, सबके अलग-अलग आंकड़े

26 फरवरी से लेकर 5 मार्च तक हमले में हुई मानवीय क्षति को लेकर अलग-अलग बयान सामने आए.

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वायुसेना की एलओसी पार बालाकोट में आतंकी ठिकानों पर की गई एयर स्ट्राइक को लेकर बयानबाजी जारी है. 26 फरवरी को एयर स्ट्राइक के बाद से ही मारे गए आतंकियों की संख्या को लेकर सरकार से सवाल किए जा रहे हैं.

हमले को लेकर वायुसेना की राय अलग है, वहीं आए दिन सरकार की तरफ से कोई इसमें नए आंकड़े जोड़ देता है. हमले में आतंकियों की मौत को लेकर 26 फरवरी से लेकर 5 मार्च तक अलग-अलग बयान सामने आए.

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5 मार्च

ताजा बयान गृहमंत्री राजनाथ सिंह का है. विपक्ष के बार-बार आंकड़े मांगने पर मंगलवार को गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि मारे गए आतंकियों की संख्या आज या कल में पता चल जाएगी. बीएसएफ के एक प्रोजेक्ट के उद्घाटन के मौके पर गृहमंत्री ने कहा, "कुछ लोग पूछ रहे हैं कि कितने मरे? देश के प्रतिष्ठित एनटीआरओ सर्विलांस ने बताया कि जहां वायुसेना ने बम गिराए, वहां 300 मोबाइल फोन एक्टिव थे."

5 मार्च

इस मामले पर केंद्रीय मंत्री राधा मोहन सिंह ने कहा कि पुलवामा हमले के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा था कि सेना को खुली छूट है. इसके साथ ही उन्होंने कहा, ''हमारी सेना ने पाकिस्तान में घुसकर 400 लोगों को मारा.''

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4 मार्च

वायुसेना प्रमुख बीएस धनोआ ने सोमवार को कहा कि सीमा पर अभी भी वायुसेना का ऑपरेशन जारी है. उन्होंने यह बात तब कही, जब उनसे पूछा गया कि सीमा पर मौजूदा स्थिति क्या है. इसके अलावा उन्होंने कहा है कि बालाकोट एयर स्ट्राइक में कितने आतंकी मारे गए, यह बताने का काम सरकार का है.

वायुसेना प्रमुख ने सोमवार को कहा, “भारतीय वायुसेना हमले में मारे गए आतंकियों की संख्या बताने की स्थिति में नहीं है. इस बारे में सरकार बताएगी. हम हताहतों की गिनती नहीं करते. हम यह हिसाब रखते हैं कि कौन से टारगेट हमने हिट किए.’’

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3 मार्च

एयर स्ट्राइक का बखान करते हुए बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने अहमदाबाद में रविवार को बताया कि इस हमले में करीब 250 आतंकी मारे गए. एक कार्यक्रम में पहुंचे शाह ने कहा था कि पुलवामा हमवे के 13वें दिन नरेंद्र मोदी सरकार ने एयर स्ट्राइक किया. इसमें 250 से ज्यादा आतंकी मारे गए.

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1 मार्च

विपक्ष की ओर से सबूत मांगे जाने के बीच केंद्रीय मंत्री एसएस अहलुवालिया ने शुक्रवार को कहा कि इस हमले का उद्देश्य मानवीय क्षति पहुंचाना नहीं, बल्कि एक संदेश देना था कि भारत दुश्मन के क्षेत्र में अंदर दूर तक घुसकर प्रहार कर सकता है.

सिलीगुड़ी में अहलुवालिया ने कहा कि न तो प्रधानमंत्री और न ही किसी सरकारी प्रवक्ता ने हवाई हमले में मरने वालों पर कोई आंकड़ा दिया है.

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28 फरवरी

बालाकोट हमले पर 28 फरवरी को तीनों सेना ने साझा प्रेस कॉन्फ्रेंस की. इस कॉन्फ्रेंस में एयर वाइस मार्शल आरजीके कपूर ने कहा था कि हमले में कितने आतंकी मारे गए, ये बताना अभी जल्दबाजी होगा. उन्होंने कहा था, "हमारा ऑपरेशन सफल रहा. जैसा चाहते थे, वैसा नतीजा मिला. सबूत सरकार को सौंप दिए गए हैं, ये वो तय करेगी कि इन्हें कब और कैसे रखना है."

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26 फरवरी

बालाकोट एयर स्ट्राइक के ठीक बाद विदेश सचिव विजय गोखले ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया था कि हमले में बड़ी संख्या में जैश-ए-मोहम्मद के आतंकी मारे गए हैं. उन्होंने कहा था, "बालाकोट में जैश के सबसे बड़े कैंप में बड़ी संख्या में आतंकी, ट्रेनी और सीनियर कमांडर मारे गए. इस कैंप को जैश चीफ मसूद अजहर का रिश्तेदार यूसुफ अजहर चला रहा था."

वहीं इसके बाद सूत्रों के हवाले से खबर आई कि वायुसेना के इस हमले में 350 आतंकवादी मारे गए. इसमें 325 फिदायीन और 25 कमांडर थे.

बालाकोट में वायुसेना की एयर स्ट्राइक में कितने आतंकी मारे गए हैं, इस पर सरकार की तरफ से कोई आंकड़ा पेश नहीं किया गया है, लेकिन नेताओं की बयानबाजी और सियासत जारी है. वहीं वायुसेना ये साफ कह चुकी है कि टारगेट को निशाना बनाना हमारा काम है, ना कि मरने वालों की संख्या गिनना.

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