धार्मिक यात्राओं के लिए सरकारी मदद का विरोध करने वाली बीजेपी ने नगालैंड में अपने ईसाइयों को मुफ्त यरूशलम यात्रा पर भेजने का वादा किया है.
बीजेपी ने नगालैंड में अपने घोषणापत्र में वादा किया है कि राज्य में अगर उसकी सरकार बनी तो यरूशलम यात्रा के लिए ईसाइयों को मदद की जाएगी.
लेकिन ईसाई लोगों को यरूशलम यात्रा का वादा करने वाली बीजेपी अकेली नहीं है. कांग्रेस ने भी इसके लिए सब्सिडी देने का वादा किया है.
अंग्रेजी अखबार द हिंदू ने बीजेपी की नगालैंड इकाई के प्रवक्ता जेम्स विजो के हवाले से बताया कि अगर हमारी पार्टी सत्ता में आती है तो हम वरिष्ठ ईसाई नागरिकों को समूहों में यरूशलम की यात्रा कराएंगे.
नगालैंड में 27 फरवरी को वोटिंग है. बीजेपी इन चुनाव में नेशनेलिस्ट डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव पार्टी के साथ मिलकर चुनाव लड़ रही है. विजो के मुताबिक हर वरिष्ठ नागरिक को मुफ्त तीर्थयात्रा कराने की कोशिश करेंगे. इस पूरी योजना की रूपरेखा बाद में तय की जाएगी.
कांग्रेस ने भी यरूशलम यात्रा के लिए सब्सिडी देने का वादा किया है. कांग्रेस के घोषणापत्र में कहा गया है कि एक बोर्ड बनाया जाएगा जिसके जरिए अल्पसंख्यक समुदाय को पवित्र धार्मिक स्थल की यात्रा के लिए सब्सिडी दी जाएगी.
चर्च की चेतावनी का असर?
नगालैंड में अचानक धार्मिक यात्रा के लिए बीजेपी के बदले रुख की वजह नगालैंड बापटिस्ट चर्चा काउंसिल की चेतावनी को माना जा रहा है. इसमें काउंसिल ने वोटरों को हिंदुत्ववादी ताकतों का विरोध करने को कहा गया है.
काउंसिल ने नगालैंड में चुनाव मैदान में उतरे सभी राजनीतिक दलों के अध्यक्ष को खुला पत्र लिखा है. इसमें 2015 से 2017 के बीच कथित तौर पर अल्पसंख्यकों की प्रताड़ना का हवाला दिया गया है.
काउंसिल के पत्र के मुताबिक हम इस बात को नकार नहीं सकते कि आरएसएस के राजनीतिक संगठन बीजेपी के सत्ता में आने के बाद देश में हिंदु्त्ववादी ताकतें मजबूत हुई हैं और उनकी दखलांदाजी बढ़ी है.
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