खुद को संत कहने वाले साक्षी महाराज एक बार फिर विवादों में हैं. दरअसल उन्नाव से बीजेपी के सांसद साक्षी महाराज इस बार अपने बयानों से नहीं बल्कि नाइट क्लब के उद्घाटन समारोह में रिबन काट कर सुर्खियों में हैं.
दरअसल, रविवार को साक्षी महाराज लखनऊ में अलीगंज इलाके के राम राम बैंक चौराहे के पास 'Let’s Meet' नाइट क्लब के उद्घाटन में पहुंच गए. अब महंत और साधु अगर नाइट क्लब का उद्घाटन करेंगे तो हंगामा तो होना ही था. साक्षी महारज के इस कदम से उनका विरोध शुरू हो गया है.
बीजेपी कार्यकर्ताओं ने साक्षी महाराज की शिकायत यूपी के प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र नाथ पाण्डेय से भी की है.
साक्षी महाराज की सफाई
हालांकि विरोध की बात सामने आने के बाद साक्षी महाराज ने सफाई भी दी. जब इस मामले में साक्षी महाराज से कुछ पत्रकारों ने पूछा गया कि साधु होकर आप नाइट क्लब का उद्घाटन करने गए तो उन्होंने सफाई देते हुए कहा, 'मुझे पार्टी के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष रज्जन सिंह ने बताया था कि वह एक रेस्तरां है. रेस्तरां उनके दामाद का है, इसलिए मैं उसका उद्घाटन करने के लिए राजी हो गया. मुझे यह नहीं पता था कि वह वास्तव में बार और नाइट क्लब है.'
बता दें कि साक्षी महाराज भले ही जो भी सफाई दें लेकिन नाइट क्लब के इनविटेशन कार्ड पर साफ साफ नाइट क्लब शब्द लिखा हुआ था. साथ ही कार्ड पर चीफ गेस्ट के तौर पर ‘सच्चिदानंद हरी साक्षी’ उर्फ साक्षी महाराज का नाम भी लिखा हुआ था.
वहीं साक्षी महारज के इस कदम से विपक्ष ने उनके संत होने पर सवाल उठाया है. समाजवादी पार्टी के विधान परिषद, सदस्य और प्रवक्ता सुनील सिंह यादव ने कहा है,
बीजेपी के चहेते साक्षी महाराज को ‘हुक्काबार और नाइटक्लब’ जैसे अय्याशी के अड्डों का उद्घाटन करने में कोई परहेज नहीं! पूज्य संतों के नाम को कलंकित करने वाले ढोंगी, रामराज्य में भोगी का जीवन जीते हैं और बात हिंदुत्व की करते हैं!
पहले भी बीजेपी को झेलनी पड़ी है शर्मिंदगी
ऐसा पहली बार नहीं हुआ है जब बीजेपी के किसी नेता को इस तरह से बार के उद्घाटन को लेकर विरोध झेलना पड़ा हो. इससे पहले प्रदेश की मंत्री स्वाति सिंह को भी लोगों के विरोध का सामना करना पड़ा था, जब उन्होंने पिछले साल राजधानी लखनऊ में खोले गए एक बार का उद्घाटन किया था.
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