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AAP के कुलदीप कुमार बने चंडीगढ़ के मेयर, SC ने चुनाव का विजेता घोषित किया

Chandigarh Mayor Election: अरविंद केजरीवाल ने कहा, "इस कठिन समय में लोकतंत्र को बचाने के लिए SC का धन्यवाद!"

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भारत
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चंडीगढ़ मेयर चुनाव (Chandigarh Mayor Election) मामले में मंगलवार, 20 फरवरी को सुप्रीम कोर्ट का फैसला आया. शीर्ष अदालत ने रिटर्निंग ऑफिसर अनिल मसीह के चुनाव परिणाम को रद्द करते हुए आम आदमी पार्टी (AAP) और कांग्रेस के संयुक्त उम्मीदवार कुलदीप कुमार को चंडीगढ़ मेयर चुनाव का विजेता घोषित किया है.

जिन 8 वोटों को अवैध माना गया था सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें AAP उम्मीदवार कुलदीप कुमार के पक्ष में वैध घोषित करते हुए कहा कि इन 8 वोटों की गिनती करने पर उनके पास 20 वोट हो जाएंगे.

इसके साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने रिटर्निंग ऑफिसर अनिल मसीह को कारण बताओ नोटिस जारी करने का आदेश दिया है.

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कुलदीप कुमार कैसे बने मेयर?

चंड़ीगढ़ मेयर चुनाव में कुल 36 वोट हैं, इसमें 35 वोट नगर निगम के पार्षदों के हैं, जबकि एक वोट सासंद का होता है.

30 जनवरी को हुए चुनाव के दौरान बीजेपी उम्मीदवार मनोज सोनकर को कुल 16 वोट मिले थे, जिसमें 15 वोट बीजेपी पार्षदों का था. वहीं आम आदमी पार्टी और कांग्रेस के संयुक्त उम्मीदवार कुलदीप कुमार को 20 वोट मिले थे, लेकिन रिटर्निंग ऑफिसर ने 8 वोटों को अमान्य करार कर दिया था. जिसके बाद बीजेपी के उम्मीदवार से ज्यादा वोट मिलने के बावजूद AAP के कुलदीप टीटा चुनाव हार गए थे.

सुप्रीम कोर्ट ने रिटर्निंग ऑफिसर अधिकारी द्वारा अमान्य घोषित किए गए 8 वोटों को SC ने मान्य करार दिया. ऐसे में कुलदीप कुमार के 20 वोट हो गए और बीजेपी उम्मीदवार के 16 वोट ही रह गए. ऐसे में कुलदीप कुमार को मेयर चुना गया.

अरविंद केजरीवाल ने SC का जताया आभार

फैसले के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने शीर्ष अदालत का आभार जताते हुए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर लिखा, "इस कठिन समय में लोकतंत्र को बचाने के लिए SC का धन्यवाद!"

एक दूसरे ट्वीट में अरविंद केजरीवाल ने लिखा, "कुलदीप कुमार एक गरीब घर का लड़का है. INDIA गठबंधन की ओर से चंडीगढ़ का मेयर बनने पर बहुत बहुत बधाई. ये केवल भारतीय जनतंत्र और माननीय सुप्रीम कोर्ट की वजह से संभव हुआ. हमें किसी भी हालत में अपने जनतंत्र और स्वायत्त संस्थाओं की निष्पक्षता को बचाकर रखना है."

AAP के साथ गठबंधन में मेयर चुनाव लड़ने वाली कांग्रेस ने ट्वीट करते हुए लिखा

चंडीगढ़ के मेयर चुनाव में सुप्रीम कोर्ट ने INDIA गठबंधन के उम्मीदवार को विजय घोषित किया. यह देश में लोकतंत्र की जीत है, तानाशाही ताकतों को मुंहतोड़ जवाब है. इस ऐतिहासिक फैसले से लोकतंत्र की रक्षा करने के लिए सुप्रीम कोर्ट का बहुत-बहुत आभार. हम सभी देशवासियों को साथ मिलकर लोकतंत्र और संविधान की रक्षा करनी है. यह हम सभी का कर्तव्य है, देश के प्रति हमारी साझी जिम्मेदारी है. लोकतंत्र जिंदाबाद.

आम आदमी पार्टी ने अपने आधिकारिक X हैंडल पर लिखा, "सत्यमेव जयते!"

पंजाब के सीएम भगवंत मान ने ट्वीट किया, "आखिरकार सत्य की जीत हुई... चंडीगढ़ में मेयर चुनाव को लेकर सुप्रीम कोर्ट के फैसले का हम स्वागत करते हैं... पीठासीन अधिकारी द्वारा खारिज किए गए 8 वोटों को सही ठहराते हुए CJI ने AAP के कुलदीप कुमार को मेयर घोषित किया... बीजेपी द्वारा सरेआम की गई गुंडागर्दी का उन्हें मुंहतोड़ जवाब मिला है... लोकतंत्र की इस बड़ी जीत पर चंडीगढ़वासियों को बहुत-बहुत बधाई..."

सुप्रीम कोर्ट ने रिटर्निंग ऑफिसर को लगाई है फटकार

बार एंड बेंच की रिपोर्ट के अनुसार सुप्रीम कोर्ट का कहना है कि चंडीगढ़ मेयर चुनाव के रिटर्निंग ऑफिसर अनिल मसीह के खिलाफ सीआरपीसी की धारा 340 के तहत कार्यवाही शुरू करने के लिए एक उपयुक्त मामला बनता है. कोर्ट ने रजिस्ट्रार ज्यूडिशियल को निर्देश दिया कि वह उन्हें नोटिस जारी कर पूछे कि उनके खिलाफ कदम क्यों न उठाए जाएं.

इससे पहले 19 फरवरी को सुनवाई करते हुए कोर्ट ने कहा था कि अनिल मसीह पर मुकदमा चलाया जाना चाहिए क्योंकि वह चुनाव प्रक्रिया में हस्तक्षेप कर रहे थे.

इसके साथ ही, सुप्रीम कोर्ट ने हॉर्स ट्रेडिंग को लेकर चिंता जताई. हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, कोर्ट ने कहा-

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“हम अखबार भी पढ़ते हैं. हम हो रही खरीद-फरोख्त को लेकर बेहद चिंतित हैं." पीठ में न्यायमूर्ति जेबी पारदीवाला और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा भी शामिल थे. उन्होंने AAP के तीन पार्षदों के बीजेपी में शामिल होने और मेयर के इस्तीफे पर यह चिंता जताई.

रिटर्निंग ऑफिसर से कोर्ट ने क्या पूछा?

"मिस्टर मसीह, मैं आपसे सवाल पूछ रहा हूं. अगर आपने सच्चे जवाब नहीं दिए तो आप पर कार्रवाई की जाएगी. यह गंभीर मामला है. हमने वीडियो देखा है. आप कैमरे की तरफ देखकर क्या कर रहे थे और मतपत्र पर आप क्रॉस का निशान लगा रहे थे, आप निशान क्यों लगा रहे थे?" चीफ जस्टिस चंद्रचूड़ ने पूछा.

मुख्य न्यायाधीश चंद्रचूड़ ने सवाल किया, "आपने बैलेट पेपर को खराब क्यों किया? आपको केवल कागजात पर हस्ताक्षर करने थे. नियमों में यह कहां प्रदान किया गया है कि आप मतपत्रों पर अन्य निशान लगा सकते हैं."

मुख्य न्यायाधीश चंद्रचूड़ ने कहा- हम कमीश्नर को एक नया रिटर्निंग अधिकारी नियुक्त करने का निर्देश देंगे, जो किसी भी राजनीतिक दल से जुड़ा न हो."

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