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COVID19: मुस्लिमों को सोशल डिस्टेंसिंग का पाठ पढ़ा रहे मुस्लिम अफसर

60 से ज्यादा मुस्लिम आईएएस, आईआरएस और आईपीएस अधिकारियों ने एक खत में हस्ताक्षर किया है

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भारत
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देश में कोरोनावायरस के खिलाफ जारी जंग में तमाम मुस्लिम नौकरशाह और पुलिस अधिकारी भी बिना थके काम कर रहे हैं, COVID-19 को फैलने से रोकने के लिए व्यवस्था कर रहे हैं और उन लोगों के इलाज में मदद कर रहे हैं, जिन्हें संक्रमण हो गया है. इन अधिकारियों ने मुस्लिम समुदाय से प्रशासन के साथ सहयोग करने की अपील की है.

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60 से ज्यादा मुस्लिम आईएएस, आईआरएस और आईपीएस अधिकारियों ने एक खत में हस्ताक्षर किया है, जिसमें लिखा है-

“COVID-19 का वैश्विक प्रकोप देश और मानवता के लिए एक बड़ी चुनौती है. हम इसे रोकने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं.”

इन अफसरों का कहना है कि वे उन रिपोर्ट्स से फिक्रमंद हैं, जिनमे ये बात सामने आयी है कि मुस्लिम लोग इस महामारी से मुकाबला करने के लिए प्रशासन की ओर से बनाए गए नियमों और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नहीं कर रहे हैं.

खत में लिखा है, “हेल्थ वर्कर्स पर पथराव कर रहे लोगों, और कानून लागू करने वाले पुलिस कर्मियों के साथ मुस्लिम समुदाय के लोगों के झड़प वाले वीडियो परेशान करते हैं. कुछ वीडियो में, पुलिसवाले लोगों को नमाज के लिए मस्जिद में जाने पर रोकते हैं. आज 4 अप्रैल 2020 को, एक राष्ट्रीय अखबार ने बताया कि भारत में सामने आए कोरोनावायरस के 25 प्रतिशत मामले मार्च में दिल्ली में आयोजित तब्लीगी जमात से जुड़े हैं.”

अधिकारियों ने मुस्लिम समुदाय से अपील की है कि वे जिम्मेदारी से काम करें और कोरोनोवायरस के खिलाफ लड़ाई में साथी नागरिकों के साथ मिसाल के तौर पर खड़े हों.

अधिकारीयों ने इस्लामी कानून का हवाला देकर भी इस बात पर जोर दिया है कि कैसे खुद को नुकसान पहुंचाना पाप है. उन्होंने कहा है कि खुदकुशी करने के इरादे से वायरस से संक्रमित होना और अपनी लापरवाही से दूसरों को खतरे में डालना - इस तरह का काम इस्लाम में 'हराम’ है, यानि इस्लाम में सख्त मना है.

इन अधिकारियों ने कुरान शरीफ में लिखी हुई बात का हवाला देकर भी मुस्लिम लोगों को समझाने की कोशिश की है-

“कुरान कहता है कि अगर कोई एक निर्दोष इंसान को मारता है, तो ये ऐसा है जैसे उसने पूरी मानव जाति को मार दिया, और जो भी एक इंसान की जान बचाता है, तो ये ऐसा है जैसे उसने पूरी मानव जाति की जिंदगी को बचाया हो.”

उन्होंने पैगंबर की बातों और प्रथाओं का भी जिक्र किया और बताया कि खुद को बचाने और महामारी को फैलने से रोकने को कदम उठाने के लिए हदीसों में साफ निर्देश दिए गए हैं.

इंडिया इस्लामिक कल्चरल सेंटर ने भी सभी मुस्लिम धार्मिक विद्वानों और मुस्लिम नेताओं से गुजारिश की है कि वे मुस्लिम नागरिकों से अपील करें कि वे लॉकडाउन के दौरान धार्मिक स्थलों पर न जाएं.
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सिविल सर्विस अधिकारीयों के ग्रुप ने मुसलमानों से अपील की है कि वे मस्जिदों पर इकट्ठा होने से बचें, घर पर जिम्मेदार नागरिक के रूप में प्रार्थना करें और स्वास्थ्य कर्मियों और पुलिस अधिकारियों को अपने कर्तव्यों को पूरा करने में मदद करें.


खत पर इन अधिकारियों ने दस्तखत किए गए है:

आसिफ जलाल, IPS (2002-हिमाचल प्रदेश)
नजमुल होदा, आईपीएस, पुलिस महानिरीक्षक, तमिलनाडु-2001 बैच
सोहेल मलिक, आईआरएस 2010 बैच, आईटी के संयुक्त आयुक्त, दिल्ली
राशिद मुनीर खान, आईपीएस 2008-पश्चिम बंगाल
मुजम्मिल खान, आईएएस
मोहम्मद शायीन, IAS 2002 बैच हरियाणा
मोहम्मद मुस्तफा IPS 1985 पंजाब
नूरुल हसन, आईपीएस, 2015, महाराष्ट्र
मो. नूर रहमान शेख, IFS, 2004, भारत के महावाणिज्य दूत, जेद्दा
सुश्री गुदरन नेहर आईआरएस 2005 बैच दिल्ली
शेख आमीन खान, आईआरएस 2011 बैच कोलकाता
जावेद अख्तर आईआरएस 2002 दिल्ली
जफर अजमल किदवई, IPS 2011, पश्चिम बंगाल
डॉ. सलीम अली, IPS (सेवानिवृत्त) 1978 बैच, त्रिपुरा
शुजा महमूद आईआरपीएस, 2006 बैच, हुबली
इम्तियाज खान, आईपीएस 2016, हरियाणा
मकसूद अहमद, आईपीएस, 2016 बैच हरियाणा
टीए खान, आईपीएस (सेवानिवृत्त) पश्चिम बंगाल 1968
शौकत अहमद पर्रे, आईएएस, 2013 बैच पंजाब
तारिक मबूद आईआरएस 2009
इमामुद्दीन अहमद, आईआरएस, कमांडर सीजीएसटी, मैंगलोर
जुहैर बिन सगीर, आईएएस 2006 बैच, उत्तर प्रदेश
डॉ. मोहम्मद सुहैल फजल IA और AS 2013 बैच, दिल्ली
मो. इम्तेयाज आलम, आईआरटीएस, 2011 बैच, दानापुर, बिहार
मंसूर हसन खान, आईडीएएस 2002.
मोहम्मद रिजवान, आईआरएस, 2004
डॉ हनीफ कुरैशी, आईपीएस 1996, हरियाणा
जैगम अली खान, आईआरएएस 1999 एसईसी रेलवे छत्तीसगढ़
एमडी अबू समा, आईआरएस 2002 बैच
हरिस बिन जमान, IPS 2017 बैच, झारखंड
डॉ. मोहम्मद सोहेल फजल, आईए एंड एएस, 2013 बैच
सुश्री आइशा खान, आईओएफएस, 2013 बैच
के आसिफ हफीज, आईआरपीएस 2010 बैच, वरिष्ठ मंडल कार्मिक अधिकारी, बेगलुरु
मो. शमशाद आलम, आईआरएस 2004 बैच
डॉ. मोहम्मद रेहान रजा, DANICS 2012, दिल्ली
हम्माद ज़फर, आईपीओएस, पटना, बिहार
अख्तर राशिद, आईआरएस, 2006 बैच
मोहम्मद कमाल अहमद, IES 1989 भोपाल सांसद
गौड़ आलम, आईपीएस 2017, तेलंगाना
सैयद हामिद बुखारी, आईसीएलएस, 2017 बैच जम्मू और कश्मीर
नोमान हाफिज, IOFS, 2015 बैच
सुहैल ए काजी, आईआरएस, 2009, पुणे
मोहम्मद सईम, आईआरएस 2014, हैदराबाद.
शकील अहमद गनी, आईआरएस 2016, श्रीनगर
सादिक अहमद, आईआरएस, 2013, हैदराबाद,
आरिफ हफीज, आईपीएस, 2015 आंध्र प्रदेश
माजिद खान, आईआरएस 2013, दिल्ली.
यूनुस, IAS 2010 बैच हिमाचल प्रदेश
मोहम्मद ओवैस आईआरटीएस, 1989 बैच
सबिहा रिजवी आईआरएस 2009 जोधपुर
सुबूर उस्मानी, आईआरएस 2003, महाराष्ट्र
आमना तस्नीम, आईएएस 2015 बैच हरियाणा
समीर शेख, IPS 2016 बैच, महाराष्ट्र
मोहम्मद ओवैस, आईआरटीएस, 1989 बैच
एसएम कासिम आबिदी, आईपीएस 2017 बैच, यूपी कैडर
समीर शेख, IPS 2016 बैच, महाराष्ट्र कैडर
शकील मकबूल, ICAS 2013, जम्मू कश्मीर
वसीम अकरम, आईपीएस, हरियाणा
मसरूर अहमद, आईए और एएस 2015, ओडिशा
एजाज अहमद IAS 2018 पश्चिम बंगाल
हमना मरियम खान, IFS, 2017, जेद्दा
सैयद अली अब्बास, IPS, 2018, यूपी
हामिद अख्तर IPS 2008 हरियाणा
अमानुल्लाह टाक, आईपी एंड टीएएफएस 2013 (निदेशक, दूरसंचार विभाग, संचार मंत्रालय)
अंसारी शकील अहमद, आईआरएस 2013 बैच

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