रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा है कि बालाकोट एयर स्ट्राइक मामले में पाकिस्तान ने खुद ही अपना मजाक बनाया है. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान डिफेंस अटैचीज और चुनिंदा पत्रकारों को हमले वाले आतंकी ट्रेनिंग कैंप के बजाय उस मदरसे में ले गया जिसे भारतीय एयरफोर्स ने छुआ तक नहीं था.
रक्षा मंत्री ने न्यूज एजेंसी एएनआई को दिए इंटरव्यू में कहा, ‘’पाकिस्तान ने पत्रकारों के छोटे से ग्रुप और डिफेंस अटैचीज को मदरसा का पिकनिक कराने में 40 दिन का वक्त लिया. मैं आपको आपको बता रही हूं कि मदरसे के पीछे घने जंगल में आतंकी ट्रेनिंग कैंप था. ऐसे में पाकिस्तान अपना ही मजाक बना रहा है.’’
बालाकोट एयर स्ट्राइक के नतीजों को लेकर भारत सरकार की चुप्पी के सवाल पर उन्होंने कहा, ''हमला होने से पहले, कई पाकिस्तानी वेबसाइट्स ने दावा किया था कि लक्षित आतंकी कैंप में युवाओं को भर्ती किया जा रहा था. 2008 के मुंबई अटैक जैसे आतंकी हमलों में भूमिका निभाने वाले आतंकी, युवाओं को अपने साथ जोड़ने के लिए बुला रहे थे.''
भविष्य के जिहादियों की ट्रेनिंग के लिए आतंकी संगठन रिटायर्ड ट्रेनर्स को भी भर्ती कर रहे थे. अगर आप (पाकिस्तानी) वेबसाइट्स देखेंगे तो आपको पता चलेगा कि (उस) कैंप में कितने लोगों को ट्रेनिंग दी जा रही थी. वहां से कोई भी (मरने वालों की) संख्या का अनुमान लगा सकता है.निर्मला सीतारमण, रक्षा मंत्री
एएनआई के मुताबिक, 26 फरवरी को तड़के भारतीय वायुसेना के 12 मिराज-2000 फाइटर जेट्स ने एलओसी पार कर पाकिस्तानी के बालाकोट स्थित जैश-ए-मोहम्मद के ट्रेनिंग कैंप पर 1000 किलोग्राम लेजर-गाइडेड बम गिराए थे. भारतीय विदेश मंत्रालय ने बताया था कि इस एयर स्ट्राइक में जैश-ए-मोहम्मद के टॉप कमांडर्स सहित कई आतंकी मारे गए थे.
जैश-ए-मोहम्मद वही आतंकी संगठन है, जिसने 14 फरवरी को जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में हुए आतंकी हमले की जिम्मेदारी ली थी. इस हमले में CRPF के 40 जवान शहीद हुए थे.
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