राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में सड़क पर फैले संदिग्ध रसायन ने तीन हंसते-खेलते परिवारों को चंद लम्हों में उजाड़ दिया. हादसे में जान गंवाने वाले तीनों दोस्त रेलवे में नौकरी करते थे.
सड़क पर फैले संदिग्ध रसायन पर तीनों दोस्तों की मोटरसाइकिल अचानक फिसल गई. मोटरसाइकिल से गिरे तीनों दोस्त उठकर खड़े हुए, वे अपने कपड़े झाड़ने लगे. मगर चंद सेकेंड में ही तीनों के बदन नीले पड़ गए. उनकी त्वचा में बुरी तरह खुजली होने लगी. देखते ही देखते त्वचा झुलसी सी दिखाई देने लगी. बदन पर मौजूद रसायन की गरमी से व्याकुल तीनों ने कपड़े फाड़कर फेंक दिए. उसके बाद दुबारा सड़क पर गिरकर तड़पने लगे. दो दोस्तों ने घटना के कुछ घंटों बाद ही अस्पताल में दम तोड़ दिया. तीसरे दोस्त की सोमवार सुबह दर्दनाक मौत हो गई.
दिल दहलाने वाली यह अजीबो-गरीब घटना शनिवार तड़के करीब पांच बजे कश्मीरी गेट थाना इलाके में मोरी गेट के पास घटी. चंद सेकेंड में तीन घरों में कोहराम मचा देने का जिम्मेदार ज्वलनशील रसायन कितना खतरनाक रहा होगा, इसकी एक बानगी तब सबने देखी, जब एक्सीडेंट की सूचना पाकर मौके पर पहुंचे पुलिस वालों को भी जान के लाले पड़ गए.
मौके पर मौजूद एक पुलिसकर्मी ने आईएएनएस को सोमवार को बताया,
“हम लोगों के पैरों में मौजूद मजबूत जूते तक बुरी तरह से जल गए। कुछ के पांवों में मौजूद चप्पलें पिघलने लगी थीं. घटनास्थल पर केमिकल की बदबू बर्दाश्त लायक नहीं थी. लगा, हम सभी दम घुटने से मर जाएंगे. बड़ी मुश्किल से इधर-उधर भागकर हमने खुद को सुरक्षित किया.”
हादसे में जान गंवाने वाले तीनों युवा दोस्तों के नाम शिवम (23), महेश (24) और मोनू है. शिवम और महेश की मौत घटना के कुछ घंटों बाद ही हो गई, जबकि मोनू की मौत सोमवार को हुई. चंद सेकेंडों में तीन-तीन युवाओं के लिए जानलेवा साबित हुए संदिग्ध रसायन का विशेषज्ञों ने मौके से नमूने सील करके प्रयोगशाला भेजे हैं.
कश्मीरी गेट थाना पुलिस ने मौके से उस सीसीटीवी फुटेज को भी कब्जे में ले लिया है, जिसमें तीनों दोस्त मोटरसाइकिल से एक साथ अचानक फिसलकर गिरते और खड़े होते हुए दिखाई दे रहे हैं.
बताया जाता है कि घटना के लिए जिम्मेदार वह ट्रक/टैंकर जिसमें यह जानलेवा रसायन संदिग्ध हालात में ले जाया जा रहा था, मौके से फरार हो गया.
सवाल यह पैदा होता है कि आखिर इतना खतरनाक रसायन देश की राजधानी में आखिर पहुंचा कैसे? कश्मीरी गेट थाना पुलिस के मुताबिक, हादसे में जान गंवाने वाले तीनों दोस्त रेलवे में नौकरी करते थे.
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