दिल्ली-एनसीआर के लोगों को कुछ दिन की राहत के बाद एक बार फिर प्रदूषण की मार झेलनी पड़ रही है. हवा के रुकने और लगातार पराली जलाए जाने की घटनाओं से दिल्ली-एनसीआर में धुंध की चादर बिछ चुकी है. प्रदूषण के स्तर में अचानक उछाल आ गया है. दिल्ली के कई इलाकों में एयर क्वॉलिटी इंडेक्स बेहद खतरनाक स्तर तक पहुंच चुका है.
गुरुवार सुबह जहां दिल्ली के कई इलाकों में प्रदूषण का स्तर 300 के पार दिखा, वहीं गाजियाबाद में इसका स्तर और भी ज्यादा खतरनाक था. गाजियाबाद के वसुंधरा में सुबह 7 बजे एयर क्वॉलिटी इंडेक्स 438 तक पहुंच गया.
दिल्ली-NCR में प्रदूषण का हाल
- पूसा रोड - 335
- मंदिर मार्ग - 318
- पड़पड़गंज - 318
- सिरीनिवासपुरी - 545
- ओखला - 417
- नई दिल्ली - 272
- गुड़गांव - 194
- फरीदाबाद - 304
पूरे शहर में छाई काली धुंध
दिल्ली में पिछले लगभग एक महीने से प्रदूषण का स्तर लगातार खतरनाक बना हुआ है. इसके लिए दिल्ली सरकार ने ऑड-ईवन स्कीम भी लागू की लेकिन ज्यादा असर नहीं पड़ा. पिछले दिनों बीच में हवा की रफ्तार तेज होने के चलते लोगों को प्रदूषण से कुछ हद तक राहत जरूर मिली थी, लेकिन अब एक बार फिर दमघोंटू हवा दिल्ली में फैल चुकी है. गहरी काली धुंध ने पूरे शहर को फिर से अपनी ओट में ले लिया है.
प्रदूषण के मुद्दे पर गुरुवार को संसद में भी चर्चा हो सकती है. बताया जा रहा है कि पर्यावरण मंत्री लोकसभा में प्रदूषण के बढ़ते स्तर को लेकर जवाब दे सकते हैं. वहीं राज्यसभा में भी इसे लेकर चर्चा होगी.
प्रदूषण के मामले पर शहरी विकास मंत्रालय की स्थायी समिति की एक बैठक भी बुलाई गई थी. जिसमें इस बार लगभग सभी सांसद और अधिकारी मौजूद रहे. बैठक में प्रदूषण को रोकने और कम करने के उपायों के बारे में चर्चा हुई. इस बैठक में दिल्ली से सांसद गौतम गंभीर भी मौजूद रहे. जिन्हें पिछले दिनों प्रदूषण की बैठक में शामिल न होने पर जमकर निशाना बनाया गया था.
एयर क्वॉलिटी इंडेक्स (AQI) 0-50 के बीच ‘अच्छा’, 51-100 के बीच ‘संतोषजनक’, 101-200 के बीच ‘मध्यम’, 201-300 के बीच ‘खराब’, 301-400 के बीच ‘बेहद खराब’, 401-500 के बीच ‘गंभीर’ और 500 के पार ‘बेहद गंभीर’ माना जाता है.
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