सोशल एक्टिविस्ट और स्वतंत्र पत्रकार प्रशांत कनौजिया को एक बार फिर यूपी पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. उन्हें राम मंदिर और राष्ट्रपति कोविंद पर आपत्तिजनक ट्वीट करने के आरोप में उनके घर दिल्ली से गिरफ्तार किया गया है. उनके खिलाफ यूपी के हजरतगंज थाने में केस दर्ज हुआ है. एफआईआर में उनके ट्वीट्स को आपत्तिजनक बताया गया है और कहा गया है कि इससे समाज में वैमनस्य फैलाने का काम किया जा रहा है.
प्रशांत कनौजिया के खिलाफ दर्ज एफआईआर में बताया गया है कि राम मंदिर में शूद्रों, ओबीसी, एससी, एसटी का प्रवेश निषेध की बात करते हुए उन्होंने ट्वीट किया. उन्होंने लिखा था कि सभी लोग इसके लिए एक साथ आवाज उठाएं. आगे लिखा गया है,
“इस प्रकार की आपत्तिजनक पोस्ट से विभिन्न समुदायों में वैमनस्य फैलाने वाला, सामाजिक सौहार्द पर प्रतिकूल प्रभाव डालने वाला और धार्मिक भावनाओं को आहत करने वाली है. जिससे वोक प्रशांति भंग हो सकती है.”
सीएम योगी को लेकर किया था ट्वीट
बता दें कि प्रशांत कनौजिया इससे पहले भी ऐसे ही कई मामलों में फंस चुके हैं. उन्हें पिछले साल यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ के खिलाफ विवादित ट्वीट करने को लेकर गिरफ्तार किया गया था. आरोप लगाया गया था कि उन्होंने ट्वीट के जरिए योगी आदित्यनाथ की छवि धूमिल करने की कोशिश की. बाद में सुप्रीम कोर्ट ने प्रशांत को बेल दे दी.
हालांकि उस गिरफ्तारी के बाद सोशल मीडिया पर उनका काफी समर्थन भी हुआ था. कई पत्रकारों ने कनौजिया की गिरफ्तारी को लेकर सवाल खड़े किए थे. लोगों ने इसे अभिव्यक्ति की आजादी पर हमला बताया और गिरफ्तारी के विरोध में बड़ी संख्या में पत्रकारों ने 10 जून 2019 को प्रेस क्लब पर प्रदर्शन किया.
इसके बाद प्रशांत कनौजिया के खिलाफ उनके एक और ट्वीट को लेकर मामला दर्ज हुआ था. उन्होने तत्कालीन आर्मी चीफ जनरल बिपिन रावत और ब्रिटिश जनरल रेजीनॉल्ड डायर की तुलना करते हुए एक ट्वीट किया था. इस ट्वीट के वायरल होने के बाद कनौजिया के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट के एक एडवोकेट ने तिलक मार्ग पुलिस स्टेशन में शिकायत दी थी.
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)