भारतीय नौसेना के बेड़े में अब एक और खतरनाक पनडुब्बी को शामिल कर लिया गया है. रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने INS खंडेरी को नौसेना में कमीशन किया. यह पनडुब्बी इसलिए खास है, क्योंकि ये दुश्मन के लिए काफी घातक साबित हो सकती है. इसे 'साइलेंट किलर' भी कहा जा रहा है. इस पनडुब्बी के शामिल होने से नौसेना की ताकत और भी ज्यादा बढ़ गई है.
क्या हैं आईएनएस खंडेरी की ताकत
INS खंडेरी भारतीय नौसेना में शामिल होकर अब समुद्र की सुरक्षा करने में काम करेगी. ये पनडुब्बी अत्याधुनिक तकनीकों से लैस है. INS खंडेरी लगातार 45 दिनों तक पानी में रहने में सक्षम है. बताया गया है कि ये एक घंटे में 35 किमी की दूरी तय कर सकती है. इस अत्याधुनिक पनडुब्बी में दुश्मन के जहाज और पनडुब्बी को निशाना बनाने के लिए खास मिसाइलें भी लगाई गई हैं. इस पनडुब्बी के अंदर 36 से ज्यादा सैनिक रह सकते हैं.
- INS खंडेरी का कुल वजन - 1550 टन
- कुल लंबाई - 67 मीटर
- कुल चौड़ाई - 6.2 मीटर
- रफ्तार - 35 किमी प्रतिघंटा
- 300 मीटर तक की गहराई तक जाने की क्षमता
क्यों कहा जाता है साइलेंट किलर
INS खंडेरी को साइलेंट किलर इसलिए कहा जाता है क्योंकि यह दुनियाभर में काफी शांति से चलने वाली पनडुब्बियों में से एक है. जब ये चलती है तो दुश्मन को कानों कान खबर नहीं होती. यही वजह है कि साउंड वेव पकड़ने वाले रडार जल्दी से इस पनडुब्बी का पता नहीं लगा पाते हैं. ये आसाने से दुश्मन के पास पहुंचकर उसे तबाह कर सकती है. एक बार पानी में उतरने के बाद ये 12 हजार किमी तक का सफर तय कर सकती है.
राजनाथ सिंह ने नौसेना के बेड़े में इस पनडुब्बी को शामिल करते हुए कहा, 'पाकिस्तान को समझना चाहिए कि पक्के इरादों वाली हमारी सरकार और INS खांडेरी जैसी योग्यताओं के साथ नौसेना में बढ़ती क्षमताओं से हम उसे ज्यादा नुकसान पहुंचा सकते हैं.'
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