जिग्नेश मेवानी में असम पुलिस पर गुजरात की अस्मिता से खिलवाड़ करने का आरोप लगाते हुए अपनी गिरफ्तारी को प्रधानमंत्री कार्यालय की साजिश करार दिया. उन्होंने 1 जून को गुजरात बंद का ऐलान किया है. जिग्नेश मेवाणी ने सोमवार को कांग्रेस मुख्यालय में प्रेस वार्ता कर पीएम ऑफिस द्वारा साजिश रचने का आरोप लगाते हुए कहा, यह 56 इंच की कायरता है.
एक महिला को आगे कर मेरे खिलाफ फर्जी मुकदमा दर्ज कराया गया, जबकि असम की न्यायपालिका ने साफ कहा कि मेरे खिलाफ कोई मुकदमा नहीं बनता है. मेरे बेल ऑर्डर में कहा गया कि एफआईआर और आरोप दोनों में कोई समानता नहीं है. मुझे 2500 किलोमीटर दूर गिरफ्तार करके लाया गया जबकि गुजरात के विधानसभा अध्यक्ष को इसकी जानकारी भी नहीं दी गई.
जिग्नेश मेवानी ने कहा कि, गुजरात में चुनाव है इसलिए बीजेपी चाहती है कि मुझे बदनाम किया जाए और मेरे और मेरी टीम के सदस्यों के लैपटॉप, कंप्यूटर, फोन सब कुछ जब्त कर लिया गया आज मुझे चिंता है कि मेरे फोन और लैपटॉप में किसी तरीके से जासूसी स्पाई तो नहीं डाल दिया गया. पहले रोहित बेमुला के खिलाफ साजिश, फिर चंद्रशेखर और अब मुझे खत्म करना चाहते है.. इस प्रकार का माहौल हमारे देश के लिए बहुत खतरनाक है. केवल एक ट्वीट करने से मेरे खिलाफ इतना कुछ कर दिया गया.
जिग्नेश मेवानी ने गुजरात बंद का आह्वान करते हुए कहा
मैं पीएम को चैलेंज करना चाहता हूं, मेरे खिलाफ जो मुकदमा है में झेल लूंगा, लेकिन पाटीदार समाज के खिलाफ जो केस हुआ उसको वापस लीजिए .. गुजरात में जो ड्रग्स पकड़ा गया है उस मामले में कार्यवाही की जाए, मुझे पता है कि इस मामले में बीजेपी और पीएमओ और एक उद्योगपति की मिलीभगत है. अगर करवाई नही हुई तो कांग्रेस इकाई 1 जून को विरोध प्रदर्शन करेंगे, सड़कों पर उतरेंगे.
गौरतलब है कि कांग्रेस विधायक जिग्नेश मेवाणी को पीएम नरेंद्र मोदी के खिलाफ ट्वीट करने और एक महिला कॉन्स्टेबल से छेड़छाड़ करने के आरोप में असम पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया गया था। पीएम के खिलाफ ट्वीट करने के मामले में उनके खिलाफ धारा 120 बी, धारा
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