लोकसभा चुनाव 2024 के नतीजे मंगलवार (4 जून) को सामने आ गए. इस चुनाव परिणाम में एनडीए को तो बहुमत मिल गई लेकिन बीजेपी बहुमत के जादूई आंकड़े से दूर रह गई. ऐसे में भारत में आए आम चुनाव के नतीजों को लेकर इंटरनेशनल मीडिया ने क्या लिखा, आइए जानते हैं.
"PM पद पर बने रहने के लिए मदद की जरूरत, भारत में मोदी ने खोई अपनी अजेयता की चमक"
अमेरिकी अखबार "द न्यूयॉर्क टाइम्स" ने लीड खबर का शीर्षक दिया "PM पद पर बने रहने के लिए मदद की जरूरत, भारत में मोदी ने खोई अपनी अजेयता की चमक". अंग्रेजी अखबार ने आगे लिखा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तीसरी बार प्रधानमंत्री बनेंगे. लेकिन चुनाव परिणाम उम्मीद के मुताबिक नहीं आने के कारण उन्हें ऐसे सहयोगियों पर निर्भर रहना पड़ेगा, जो उनके एजेंडे से सहमत नहीं हैं.
"मोदी के हिंदू राष्ट्रवादियों की तीसरी बार जीत से भारत के मुसलमानों में भय."
पाकिस्तानी अखबार 'डॉन' ने लिखा, "मोदी के हिंदू राष्ट्रवादियों की तीसरी बार जीत से भारत के मुसलमानों में भय." अखबार ने लिखा, "भारत के 200 मिलियन से ज्यादा मुस्लिम अल्पसंख्यकों के लिए, हिंदू-राष्ट्रवादी सत्तारूढ़ पार्टी का तीसरा कार्यकाल संवैधानिक रूप से धर्मनिरपेक्ष देश में उनके भविष्य के लिए नई आशंकाएं लेकर आया है. कई भारतीय मुसलमानों को चिंता है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की दक्षिणपंथी बीजेपी उन्हें हिंदू राष्ट्र में “दूसरे दर्जे के नागरिक” बना देगी."
"मोदी ने चुनाव में संसदीय बहुमत खो दिया"
'द गॉर्डियन' ने लिखा, "मोदी ने भारतीय चुनाव में संसदीय बहुमत खो दिया". अखबार ने आगे लिखा, "नरेंद्र मोदी की सत्तारूढ़ बीजेपी ने अपना संसदीय बहुमत खो दिया है, जिससे प्रधानमंत्री को अप्रत्याशित झटका लगा है और सत्ता में वापसी के लिए उन्हें गठबंधन सहयोगियों के साथ बातचीत करने के लिए मजबूर होना पड़ा है. बुधवार(5 जून) की सुबह सभी मतों की गिनती के साथ, यह स्पष्ट हो गया कि चुनावों में बीजेपी के लिए भविष्यवाणी की गई भारी जीत साकार नहीं हुई है और इसके बजाय देश के बड़े हिस्से में मजबूत प्रधानमंत्री और उनकी हिंदू राष्ट्रवादी राजनीति के खिलाफ विरोध प्रदर्शन हुआ है."
'मोदी ने बहुमत खोया लेकिन सत्ता बरकरार रखने के लिए तैयार'
'द वॉल स्ट्रीट जर्नल 'ने लिखा, "मोदी ने बहुमत खो दिया, लेकिन सत्ता बरकरार रखने के लिए तैयार". अखबार ने लिखा, "भारतीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी तीसरी बार सत्ता में बने रहने के लिए तैयार हैं, जबकि मतदाताओं ने बढ़ती बेरोजगारी और मंहगाई वाले चुनाव में उन्हें पूर्ण बहुमत न देकर हिंदू राष्ट्रवादी को करारा झटका दिया है".
'चुनाव ने मोदी और उनकी पार्टी को करारा झटका'
जापानी अखबार Yomiuri Shimbun ने लिखा, "भारतीय चुनाव ने मोदी और उनकी पार्टी को करारा झटका दिया." अखबार ने आगे लिखा, " मतदाताओं ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व को अप्रत्याशित रूप से नकार दिया है, क्योंकि चुनावी नतीजों से पता चला है कि उनकी हिंदू राष्ट्रवादी पार्टी संसद में बहुमत से दूर रह गई है, जिससे दशकों में सबसे प्रभावशाली भारतीय राजनेता के आसपास की अजेयता का आभामंडल में सेंध लग गई है".
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