गरीबों की मसीहा मानी जाने वाली मदर टेरेसा को पोप फ्रांसिस ने तकरीबन एक लाख श्रद्धालुओं की मौजूदगी में एक सामूहिक कैननाइजेशन सभा में संत की उपाधि दी. इस दौरान सेंट पीटर्स बेसीलिका पर मदर टेरेसा की एक बड़ी तस्वीर लगाई गई, जिसमें मदर टेरेसा नीचे लोगों की ओर देखते हुए मुस्कुरा रही हैं. मदर टेरेसा को संत की उपाधि उनकी 19वीं पुण्यतिथि से एक दिन पहले दी गई.
प्रतिनिधि मंडल के साथ पहुंची विदेश मंत्री
विदेश मंत्री सुषमा स्वराज एक 12 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल के साथ वेटिकन में इस कार्यक्रम में भाग लेने गई हैं. इस प्रतिनिधिमंडल के अलावा दिल्ली और पश्चिम बंगाल से दो राज्य स्तरीय प्रतिनिधिमंडल भी रोम में हैं, जिनका नेतृत्व क्रमश: अरिवंद केजरीवाल और ममता बनर्जी कर रही हैं.
भारत में भी मनाई गईं खुशियां
मदर टेरेसा को संत की उपाधि दिए जाने की खुशी भारत में भी कई जगह मनाई गई. जहां कोलकाता में लोगों ने जश्न मनाया, वहीं दिल्ली के चर्च में खाना बांटकर खुशी जाहिर की.
दुनिया की सबसे मशहूर महिलाओं में एक टेरेसा
मदर टेरेसा का निधन 87 साल की उम्र में कोलकाता में हुआ था. कहा जाता है कि गरीबों की सेवा का काम भी उन्होंने इसी शहर में शुरू किया था. इस काम ने मिशनरीज ऑफ चैरिटी की प्रमुख रहीं मदर को धरती की सबसे मशहूर महिलाओं में से एक बना दिया. मेसेडोनिया की राजधानी स्कोप्ये में कोसोवर अलबानियाई माता-पिता के यहां जन्मी मदर टेरेसा को 1979 में नोबल शांति पुरस्कार भी मिला था.
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