कांग्रेस ने कहा है कि नए सीबीआई चीफ को चुनने की प्रक्रिया पूरी तरह से पारदर्शी होनी चाहिए. कांग्रेस का कहना है कि इस चयन का आधार योग्यता और वरिष्ठता होनी चाहिए. सीबीआई के नए डायरेक्टर को चुनने के लिए 24 जनवरी को हाई लेवल कमेटी की बैठक होनी है.
कांग्रेस नेता आनंद शर्मा ने मीडिया से बातचीत के दौरान कहा, ‘‘कांग्रेस की राय स्पष्ट है. सीबीआई डायरेक्टर का पद बहुत ही महत्वपूर्ण और संवेदनशील पद है. मोदी जी और बीजेपी ने सीबीआई नाम की संस्था को बर्बाद कर दिया है.''
आनंद शर्मा ने कहा:
‘‘अब एक मौका है कि जो नुकसान हुआ है, उसे ठीक किया जाए. इसलिए जो नए सीबीआई डायरेक्टर के चयन की प्रक्रिया है, वो पारदर्शी होनी चाहिए. मेरिट, योग्यता और वरिष्ठता को ध्यान में रखकर सीबीआई का नया डायरेक्टर चुना जाना चाहिए.”
बता दें कि सीबीआई के नए डायरेक्टर की नियुक्ति के लिए 24 जनवरी हाई लेवल सलेक्शन कमेटी की बैठक है. इस कमेटी के अध्यक्ष प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हैं. भारत के चीफ जस्टिस और लोकसभा में कांग्रेस के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे इस कमेटी के सदस्य हैं.
आलोक वर्मा को इस पद से हटाए जाने के बाद से सीबीआई डायरेक्टर का पद खाली है.
सीबीआई डायरेक्टर के पद से आलोक वर्मा को हटाए जाने के बाद उन्होंने इस्तीफा दे दिया था. वर्मा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली उच्चस्तरीय समिति द्वारा पद से हटाए जाने के एक दिन बाद इस्तीफा दिया था.
बता दें कि वर्मा को अग्निशमन सेवा, नागरिक सुरक्षा और होमगार्ड्स के महानिदेशक के रूप में नई जिम्मेदारी दी गई थी.
आलोक वर्मा के इस्तीफे पर सवाल खड़ा करते हुए कांग्रेस ने उन्हें दोबारा सीबीआई डायरेक्टर के रूप में बहाल करने की मांग की थी. कांग्रेस ने कहा था कि प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में चयन समिति द्वारा आलोक वर्मा को सीबीआई से हटाया जाना सही मायने में इंसाफ से इनकार करना है.
(इनपुट: भाषा)
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