राजस्थान के कोटा में एक अस्पताल में 48 घंटे में 10 नवजात बच्चों की मौत का मामला सामने आया है. नवजात बच्चों की मौत के मामले में कोटा से सांसद और लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला ने राजस्थान सरकार से फौरन कार्रवाई करने करने को कहा है.
मेरे संसदीय क्षेत्र कोटा के जेकेलोन मातृ एवं शिशु चिकित्सालय में 48 घंटे में 10 नवजात शिशुओं की असमय मौत चिंता का विषय है. राजस्थान सरकार इस विषय में संवेदनशीलता के साथ तुरंत कार्रवाई करें.ओम बिड़ला, लोकसभा अध्यक्ष
ओम बिड़ला ने सीएम को लिखा पत्र
ओम बिड़ला ने ट्वीट कर बताया कि उन्होंने इस मामले को लेकर राजस्थान सीएम अशोक गहलोत को पत्र लिखा है. जिसमें नवजात शिशुओं की असमय मृत्यु के मामले की संवेदनशीलता को समझते हुए पर्याप्त चिकित्सकीय इंतजाम किये जाने की बात कही है. वहीं, अशोक गहलोत ने भी कहा, 'हमने वरिष्ठ अधिकारियों और डॉक्टरों को भेजा है, मामले की जांच की जा रही है.
जेके लोन अस्पताल में 2 दिन में 10 बच्चों की मौत
खबरों के अनुसार, कोटा स्थित जेके लोन अस्पताल में दो दिनों यानी 48 घंटों में 10 बच्चों की मौत हो गई है. बताया गया कि सभी बच्चे एनआईसीयू में भर्ती थे. हालांकि, अस्पताल का कहना है कि इनमें कई बच्चे प्राइवेट और दूसरे अस्पतालों से रेफर किए गए थे. जिनकी हालत नाजुक थी और कुछ बच्चों को जन्म के समय ही दिक्कतें थी.
राज्य के स्वास्थ्य-शिक्षा सचिव वैभव गालरिया ने कहा है कि
कोटा में नवजात बच्चों की मौत पर एक जांच समिति का गठन किया गया है. मौत के कारणों को भी जांच की जाएगी. जांच में सुविधाओं, स्वच्छता, चिकित्सा उपकरणों जैसे सभी मुद्दों पर ध्यान दिया जाएगा.
जेके लोन अस्पताल के डॉक्टर ने बताया कि इस बारे में पेडियाट्रिक्स विभाग के अध्यक्ष को बता दिया गया है. अब इसके लिए एक कमेटी बनाई जाएगी जो इस बारे में जांच कर रिपोर्ट देगी. हालांकि, डॉक्टर का कहना है कि राजस्थान के कोटा में बच्चों की मौत का औसत सबसे कम है.
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