विपक्षी सदस्यों ने लोकसभा में नए पासपोर्ट पर कमल का निशान छापने को लेकर उठाया था. अब एक दिन बाद 12 दिसंबर को विदेश मंत्रालय ने कहा है कि यह फर्जी पासपोर्ट का पता लगाने और सुरक्षा मजबूत करने की विशेषताओं का हिस्सा है इसके साथ ही आगे दूसरे राष्ट्रीय प्रतीकों का भी बारी-बारी से इस्तेमाल किया जाएगा.
कांग्रेस सदस्य एमके राघवन ने केरल के कोझिकोड में बंटने के लिए आए नए पासपोर्ट पर कमल का निशान होने का मुद्दा उठाते हुए कहा कि एक अखबार ने इस खबर को छापा है. उन्होंने आरोप लगाया कि बीजेपी के चुनावी चिह्न कमल के साथ यह सरकारी संस्थाओं का ‘‘भगवाकरण’’ है.
इस बारे में पूछे जाने पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने कहा- ‘‘यह निशान हमारा राष्ट्रीय पुष्प है और यह फर्जी पासपोर्ट का पता लगाने के लिए लाई गई परिष्कृत सुरक्षा विशेषता का हिस्सा है. ये सुरक्षा विशेषता अंतरराष्ट्रीय नागरिक विमानन संगठन (आईसीएओ) के दिशानिर्देशों का हिस्सा है.’’
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा- ‘‘कमल के अलावा बारी-बारी से अन्य राष्ट्रीय प्रतीकों का भी उपयोग किया जाएगा. अभी कमल का इस्तेमाल किया गया था. अगले महीने कुछ और होगा. ये प्रतीक भारत से जुड़े हैं जैसे राष्ट्रीय पुष्प या राष्ट्रीय पशु.’’
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