कश्मीर को लेकर भारत-पाकिस्तान के बीच तनाव का मुद्दा अब एक बार फिर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर उठने जा रहा है. सोमवार से संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद (UNHRC) का सत्र शुरू हो रहा है. जेनेवा में होने जा रहे इस सत्र के पहले ही दिन पाकिस्तान की तरफ से भारत के खिलाफ कई तरह की दलीलें रखी जा सकती हैं. पाकिस्तान चाहेगा कि इस बैठक में कश्मीर मुद्दे को प्रमुखता से उठाया जाए.
भारत भी तैयार
जहां पाकिस्तान की तरफ से लगातार कश्मीर को लेकर झूठे सबूत इकट्ठे किए जा रहे थे, वहीं भारत ने भी पूरी तैयारी कर रखी है. भारत पाकिस्तान की हर दलील का जवाब देने के लिए तैयार है. वहीं भारत ये भी कोशिश करेगा कि अन्य सभी देश उसके समर्थन में आएं. हालांकि पहले ही कई देश कश्मीर मसले को लेकर भारत का समर्थन कर चुके हैं. इसीलिए पाकिस्तान को इस मुद्दे पर एक बार फिर मुंह की खानी पड़ सकती है.
बता दें कि जिनेवा में यूएनएचआरसी सत्र 9 सितंबर से शुरू हो रहा है और 27 सितंबर तक चलेगा. पाकिस्तान के विदेश मंत्री कश्मीर मुद्दे को लेकर इस सत्र में अपनी दलीलें रखेंगे.
बता दें कि पाकिस्तान कश्मीर मुद्दे को लगातार अंतरराष्ट्रीय स्तर पर उठाने की कोशिश करता आया है. पाकिस्तान की तरफ से कई बड़े देशों को भी कश्मीर पर मध्यस्थता की अपील की गई, लेकिन हर बार उसे निराशा ही हाथ लगी.
UNSC में मिली थी करारी हार
पाकिस्तान इससे पहले कश्मीर में आर्टिकल 370 हटाए जाने को लेकर यूएनएससी में भी अपील कर चुका है. पाकिस्तान और चीन ने भारत के खिलाफ चाल चलते हुए इस मुद्दे को यूएनएससी में उठाया था. पाकिस्तान ने परिषद से इस मुद्दे पर औपचारिक बैठक बुलाने की मांग की थी, लेकिन उसे खारिज कर दिया गया. हालांकि पाकिस्तान ने हमेशा की तरह अपनी हार को स्वीकार नहीं किया. पाकिस्तानी मीडिया ने दावा किया कि बंद दरवाजे के पीछे हुई बैठक में पाकिस्तान को जीत मिली है.
कश्मीर मामले को लेकर पाकिस्तानी नेता और मीडिया लगातार दावा करते आए हैं कि यहां आर्टिकल 370 हटाए जाने के बाद मानवाधिकार उल्लंघन हो रहा है. इसे लेकर पाकिस्तान ने कई विपक्षी नेताओं तक के बयानों का सहारा ले लिया. जिनमें कश्मीर में लगाई गई पाबंदियों का जिक्र किया गया था. हालांकि विपक्षी नेताओं ने पाकिस्तान के इस झूठ पर भारत सरकार का साथ देते हुए पाक को जमकर फटकार लगाई.
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