ADVERTISEMENTREMOVE AD

भारत के एक पोर्ट पर रखा है बेरूत जैसा विस्फोटक-700 टन

अब भारत में भी इकट्ठा कर रखे गए ऐसे केमिकल को डिस्पोज करने की मांग उठ रही है.

Updated
भारत
2 min read
story-hero-img
i
छोटा
मध्यम
बड़ा
Hindi Female

बेरूत धमाके में मरने वालों की संख्य़ा बढ़कर 135 पहुंच गई है. एक बंदरगाह पर साल 2014 से इकट्ठा किए गए 2,700 टन अमोनियम नाइट्रेट को धमाके का कारण बताया जा रहा है. अब भारत में भी इकट्ठा कर रखे गए ऐसे केमिकल को डिस्पोज करने की मांग उठ रही है. पीएमके संस्थापक एस रामदास ने ये अपील की है कि चेन्नई के बंदरगाह पर स्टोर कर रखे गए 700 टन अमोनियम नाइट्रेट के स्टॉक को डिस्पोज किया जाए. रामदास ने सरकार से जल्द से जल्द कार्रवाई करने की मांग की है.

ADVERTISEMENTREMOVE AD

2015 से स्टोर है अमोनियम नाइट्रेट

एनडीटीवी की एक रिपोर्ट के मुताबिक, साल 2015 में कस्टम विभाग ने इस स्टॉक को जब्त किया था. ये स्टॉक तमिलनाडु के शिवकाशी, जो पटाखा फैक्ट्री के लिए देशभर में जाना जाता है, के एक ग्रुप के लिए लाया गया था. रिपोर्ट के मुताबिक, बंदरगाह के अधिकारी इस बात से इनकार कर रहे हैं कि ये केमिकल का ढेर बंदरगाह पर रखा हुआ है, उनका कहना है कि इसे काफी पहले ट्रांसफर कर दिया गया है.

इस बीच 6 अगस्त को कस्टम डिपार्टमेंट की तरफ से जारी प्रेस रिलीज के मुताबिक, आयात किया हुआ 740MTS अमोनियम नाइट्रेट जब्त किया गया है. इसे शहर से 20 किलोमीटर दूर और रिहायशी इलाके से 2 किलोमीटर दूर चेन्नई के मनाली में सेफ कस्टडी में रखा गया है. कस्टम डिपार्टमेंट के मुताबिक, जल्द से जल्द ही इसे डिस्पोज किए जाने की तैयारी की जा रही है.

कुल मिलाकर स्थिति ये है कि बेरूत धमाके के बाद ऐसे स्टोर किए गए विस्फोटक केमिकल्स के खिलाफ आवाज उठने लगी है. जल्द से जल्द इसके निपटारे की मांग की जा रही है. अमोनियम नाइट्रेट का इस्तेमाल ज्यादातर पटाखे-विस्फोटक बनाने और खाद में किया जाता रहा है. खादानों में ब्लास्ट के लिए भी इसका इस्तेमाल किया जाता रहा है.

बेरूत में 3-5 अरब डॉलर का नुकसान

बता दें कि बेरूत में हुए धमाके में करीब 5 हजार लोग घायल हुए हैं. बेरूत के गवर्नर का कहना है कि विस्फोटों से शहर को 3-5 अरब डॉलर का आर्थिक नुकसान हुआ है. संयुक्त राष्ट्र के महासचिव एंटोनियो गुटेरेस के की तरफ से जारी बयान में कहा गया है कि, संयुक्त राष्ट्र भी नुकसान का आकलन कर रहा है और वैकल्पिक सहायता कार्यों की योजना बना रहा है

(हैलो दोस्तों! हमारे Telegram चैनल से जुड़े रहिए यहां)

0
Published: 
सत्ता से सच बोलने के लिए आप जैसे सहयोगियों की जरूरत होती है
मेंबर बनें
अधिक पढ़ें
×
×