झारखंड में जेएमएम-कांग्रेस की जीत तो जरूर हो गई है, लेकिन इस बीच एक ऐसा निर्दलीय विधायक जिसने अपने बल पर अपनी प्रतिष्ठा की लड़ाई जीत ली है. ये निर्दलीय विधायक हैं- सरयू राय. उन्होंने राज्य के निवर्तमान सीएम रघुवर दास के खिलाफ चुनाव लड़ उन्हें उन्हीं के गढ़ में मात दे दी है.
‘जमशेदपुर पूर्व सीट पर निर्दलीय उम्मीदवार सरयू राय ने बीजेपी उम्मीदवार और निवर्तमान सीएम रघुवर दास को बड़े अंतरों से हराया है. सरयू राय चुनाव से पहले झारखंड में बीजेपी की सरकार में मंत्री थे.’
खाद-आपूर्ति मंत्री थे सरयू राय
सरयू राय रघुवर दास मंत्रिमंडल में खाद्य एवं आपूर्ति मंत्री थे. लेकिन जब उनका टिकट काटा गया तो सरयू राय ने मुख्यमंत्री के खिलाफ विधानसभा चुनाव लड़ने की घोषणा की. उन्होंने विधानसभा की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया. सरयू राय ने अपना नामांकन पत्र दाखिल करने से पहले कहा, "यह भय और भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई है."
रघुवर दास को उनके ही गढ़ में मिली हार
रघुवर दास जमशेदपुर पूर्व सीट से पांच बार चुनाव जीत चुके हैं. लेकिन इस बार उन्हें बड़ा झटका लगा है. सरयू राय जो रघुवर मंत्रीमंडल में मंत्री थे उन्होंने रघुवर दास को उनके ही गढ़ में चुनौती दे दी. यह सरयू राय के लिए प्रतिष्ठा की लड़ाई थी जिसे उन्होंने जीत लिया है.
सरयू राय ने टिकट काटने का लगाया था आरोप
सरयू राय ने आरोप लगाया था कि उनकी टिकट रघुवर दास की वजह से काटी गई है. उन्होंने कहा, अगर पार्टी मुझे पहले ही बता देती तो मैं शांत रह जाता लेकिन, टिकट देने की बात कह कर मैं लिस्ट में का इंतजार करता रहा और मेरा नाम नहीं आया. यह मेरे लिए अपमान की बात थी. इसलिए मैंने निर्दलीय चुनाव लड़ने का फैसला किया.
आपको बता दें कि, सरयू राय एक वरिष्ठ नेता है. वह काफी लंबे समय से बीजेपी के साथ थे. उन्होंने कई घोटालों को लेकर अपनी आवाज बुलंद की थी. जिसमें पशुपालन घोटाला काफी अहम है. जिसमें लालू यादव समेत कई अधिकारियों को जेल जाना पड़ा था.
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