उत्तर प्रदेश की पुलिस पर लगातार उठ रहे सवालों के बीच एक नया मामला प्रतापगढ़ जिले के रानीगंज थाने से आया है. दरअसल थाना क्षेत्र में स्थित भागीपुर गांव की रहने वाली फातिमा बानो के घर पर रानीगंज थाने की कॉन्स्टेबल उस महिला को बुरी तरह से पीट रही हैं. परिवार वाले FIR करवाने के लिए 18 किलोमीटर दूर प्रतापगढ़ स्थित जिला पुलिस हेडक्वार्टर भी गए लेकिन नहीं हुई FIR दर्ज.
पुलिस पर गंभीर आरोप
जमील अहमद बताते हैं कि रविवार को करीब 11:30 बजे उनके घर उप निरीक्षक वीरेंद्र त्रिपाठी आकर जमीन के कागज मांगते हैं और कहते हैं कि तुम लोग घर क्यों नहीं बनाने दे रहे हो. उन्होंने कहा, “मेरी बहन फातिमा ने बताया कि उसने SI से कहा कि भाई तो काम पर गए हैं, लेकिन कागज हम दे रहे हैं. उप निरीक्षक ने कागज लेते ही फाड़ते हुए कहा कि हम घर बनवाएंगे. मेरी बहन ने विरोध करते हुए कहा कि आप कैसे बनवाएंगे हम गांव वालों को बुलाएंगे. इस पर उप निरीक्षक चले गए. तीन महिला कॉन्स्टेबल के साथ वो फिर आए उसके बाद मेरी बहन को बुरी तरह पिटवाया. वहां से मेरी बहन को थाने लेकर आए. गांव वालों ने मुझे खबर की, हम भागकर थाने गए तो मालूम हुआ कि वहां भी बहन को बुरी तरह मारा गया. अब जमानत का इंतजार कर रहे हैं, उसके बाद ही बहन का मेडिकल हो सकेगा.” जमील ने आगे कहा,
“हमने बहन की इस पिटाई पर 100 नंबर पर भी खबर की कि कागज देखिए हमारे पास ऑर्डर है लेकिन कोई मदद नहीं मिली. दरअसल कुछ दिनों से काम पर जाने के बाद उप निरीक्षक वीरेंद्र त्रिपाठी अक्सर मेरे घर जाकर डराते धमकाते आ रहे हैं. मैंने इस बात की जानकारी 15 दिन पहले SO साहब को दी और उनसे गुजारिश की कि कागज देख लीजिए. दरअसल उप निरीक्षक ने पैसे लेकर इस काम को अंजाम दिया है.”जमील अहमद, पीड़िता के भाई
इस घटना को लेकर जो वीडियो सामने आया है, उसमें पहले तो महिला को डंडे से बुरी तरह मारने की आवाज आ रही है, उप निरीक्षक महिला को चलने के लिए कह रहे हैं. महिला कह रही है कि नकाब पहनने दो जो जमीन में पड़ा है. इस पर महिला के पिटाई की आवाजें और बढ़ जाती हैं.
किस जुर्म में किया बंद? पूछा तो थानेदार ने काटा फोन
रानीगंज के थाना प्रभारी मनोज तिवारी से जब इस मामले को लेकर पूछा गया तो उन्होंने बताया, "जमीन का विवाद था जिसके लिए दरोगा जी महिला कॉन्स्टेबल को लेकर महिला के घर गए थे. महिला कॉन्स्टेबल को महिला ने बाल पकड़ कर पटक दिया, इस पर आक्रोशित हो कर महिला कॉन्स्टेबल को जो कदम नहीं उठाना चाहिए था वह कदम महिला के साथ उन्होंने उठाया. अब मौके पर जो घटना घट गई तो अब घट ही गई.
लेकिन जब थानेदार से क्विंट ने पूछा कि महिला को किस अपराध के तहत थाने में रखा गया है और उन पर क्या धराएं लगाई गई हैं तो इतना सुनने के बाद थानेदार ने तुरंत फोन काट दिया.
जमीनी विवाद पर पुलिस ने की शर्मनाक कार्रवाई
पीड़िता के भाई जमील अहमद ने बताया कि किसी विवाद के निपटारे पर उनकी मां ने खानदान के शब्बू को घर की थोड़ी सी जमीन रहने के लिए दे दी. उस जमीन को शब्बू और उनके भाइयों ने भू माफिया शकीलउद्दीन और वसीमउद्दीन को बेच दी. शकीलुद्दीन और वसीमउद्दीन ने शब्बू के हिस्से की जमीन के आलावा हमारी जमीन पर भी कब्जा करने की कोशिश की. जिस पर हमने कोर्ट में केस किया, लगभग 10 साल से केस चल रहा है. जमील अहमद ने आगे बताया,
“ये लोग प्रतापगढ़ में विवादित जमीन पर इसी तरह से कब्जा करते हैं. शकीलुद्दीन की प्रशासन पर अच्छी पकड़ है इस कारण मुझे इसी जमीनी विवाद में जेल भी जाना पड़ा. 2000 में जेल जाने पर भी इन लोगों ने जमीन के कुछ हिस्से पर कब्जा कर लिया था. तब से केस चल रहा है.”जमील अहमद, पीड़िता का भाई
इस पूरे मामले को लेकर प्रतापगढ़ के एसपी अनुराग आर्य से बातचीत करने पर उन्होंने कहा,
"जमीनी विवाद था, पुलिस जांच के लिए गई थी. इस पर महिला ने कॉन्स्टेबल के बाल खींचे, उनके साथ बदतमीजी हुई. इस संबंध में CO रानीगंज जांच कर रहे हैं. दरोगा जी को पुलिस लाइन ट्रांसफर कर दिया गया है. महिला पर चार्ज यही है कि महिला ने पुलिस कार्य में बाधा डाली है."
एसपी ने बताया कि इस मामले में सब इंस्पेक्टर की लापरवाही भी सामने आई है, इसीलिए उन्हें थाने से हटाकर पुलिस लाइन भेज दिया गया है.
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