ADVERTISEMENTREMOVE AD

UP: नदी के बाद अब में रेत में दबे मिले शव, DM ने दिए जांच के आदेश

शवों को मुख्य रूप से हाजीपुर इलाके के रौतापुर गंगा घाट पर दफनाया गया था.

Published
भारत
2 min read
story-hero-img
i
छोटा
मध्यम
बड़ा
Hindi Female

पूर्वी यूपी और बिहार में गंगा नदी में संदिग्ध कोविड रोगियों के शवों को तैरते हुए देखे जाने के चार दिन बाद, एक रिपोर्ट से पता चला है कि उन्नाव जिले में गंगा नदी के किनारे दो स्थानों पर कई शव रेत में दफन किए गए हैं. दो स्थानों पर स्थानीय लोगों ने दफन शवों को देखा. संयोग से, अधिकांश शव केसरिया कपड़े में लिपटे हुए थे.

ADVERTISEMENTREMOVE AD
हालांकि, इस बात की पुष्टि नहीं हुई कि ये शव कोविड रोगियों के हैं. उन्नाव के जिलाधिकारी रवींद्र कुमार ने कहा, "कुछ लोग शव नहीं जलाते बल्कि नदी के पास रेत में दफन कर देते हैं.जानकारी मिलने के बाद, मैंने अधिकारियों को घटनास्थल पर भेज दिया है. मैंने उनसे जांच के बाद कार्रवाई करने के लिए कहा है."

शवों को मुख्य रूप से हाजीपुर इलाके के रौतापुर गंगा घाट पर दफनाया गया था.

स्थानीय व्यवसायी शिरीष गुप्ता ने कहा, "मॉनसून मुश्किल से एक महीना दूर है और एक बार गंगा नदी के पानी से भर जाने के बाद, ये शव किनारे आ जाएंगे. जिला प्रशासन को शवों को हटाना चाहिए और उनका उचित दाह संस्कार करना चाहिए."

0
जिले के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, अगर हम शव निकालते हैं तो यह एक कानून व्यवस्था की समस्या पैदा कर सकता है. हम देखेंगे कि सबसे अच्छा क्या किया जा सकता है.

सूत्रों ने कहा कि जब से चल रही महामारी में मरने वालों की संख्या बढ़ने लगी है, तब से दाह संस्कार करने की कीमतों में भी वृद्धि हुई है.

गुप्ता ने कहा, "हिंदू संस्कारों के अनुसार दाह संस्कार का पैकेज अब 15,000 से 20,000 रुपये के बीच है. यह स्पष्ट है कि गरीब लोग इसे अदा नहीं कर सकते हैं और वे नदी के किनारे शवों को दफन कर रहे हैं."

इससे पहले भी सोमवार को गाजीपुर और बलिया जिलों में गंगा के तट पर मृतकों के शव मिले थे,वहीं बिहार के बक्सर में भी तैरती हुई लाशें मिलीं थी.

(हैलो दोस्तों! हमारे Telegram चैनल से जुड़े रहिए यहां)

सत्ता से सच बोलने के लिए आप जैसे सहयोगियों की जरूरत होती है
मेंबर बनें
अधिक पढ़ें
×
×