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कोरोना: बाइडेन की हिदायत और दिल्ली सरकार के फैसले में फर्क का मतलब

बाइडेन ने कहा है कि हेल्थ एक्सपर्ट ने उन्हें इस तरह की सलाह दी है

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अमेरिका का कोई राज्य हो या भारत की राजधानी दिल्ली, कोरोना वायरस के संक्रमण में एक बार फिर तेजी देखने को मिल रही है. ऐसे में सरकारें इसे रोकने के लिए कदम भी उठा रही हैं लेकिन ये कदम कितने कारगर और असरदार हैं, इसपर बहस चलती आई है. ताजा उदाहरण, अमेरिका के राष्ट्रपति बनने जा रहे जो बाइडेन और दिल्ली के सीएम केजरीवाल का है.

एक तरफ बाइडेन का कहना है कि 'थैंक्सगिविंग डे' के मौके पर परिवारों के भी 10 से ज्यादा लोग इकट्ठे ना हों. वहीं तेजी से संक्रमण का पसार झेल रही दिल्ली के सीएम केजरीवाल का फैसला है कि अब शादी-विवाह, पार्टी जैसे आयोजनों में 50 से अधिक लोग एकत्र नहीं हो सकते. अब अमेरिका और भारत इस महामारी से सबसे ज्यादा प्रभावित देशों में पहले और दूसरे स्थान पर हैं लेकिन इन दोनों उदाहरणों से साफ है कि प्रसार रोकने में दोनों की 'सतर्कता' में काफी अंतर है. बाइडेन परिवार के 10 लोगों को भी एक साथ इकट्ठा न होने की बात कह रहे हैं तो दिल्ली के सीएम को लगता है कि 50 लोगों के आयोजन में शामिल होने की छूट काफी है. हालांकि, पहले 200 व्यक्तियों तक को शादी, पार्टी में शामिल होने की इजाजत थी.

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ऐसे में इन दोनों उदाहरणों से समझते हैं कि संक्रमण को रोकने के प्रसार में क्या कुछ किया जा रहा है.

अमेरिका में कुल मिलाकर पिछले पांच फ्लू सीजन में उतनी मौतें नहीं हुईं, जितनी ज्यादा मौतें कोरोनावायरस से हुई हैं. ये मामले कम होते नहीं दिख रहे हैं, जुलाई महीने में शुरुआती पीक बनने के बाद आम जिंदगी पटरी पर आने लगी थी. लेकिन अब कोरोना वायरस की दूसरी वेव ने एक बार फिर अमेरिका के लोगों को को सतर्क रहने पर मजबूर कर दिया. इस बार ग्राफ पर जो पीक बन रहा है वो पिछली बार के मुकाबले बहुत बड़ा है.

अमेरिका के नए राष्ट्रपति बनने जा रहे बाइडेन ने इस महामारी के खिलाफ फिर से कमर कसने की बात कह दी है. अमेरिका में बीच में बाजार, स्कूल, उत्सव वगैरह करने की इजाजत दे दी गई थी अब बाइडेन का कहना है कि 'थैंक्सगिविंग डे' के मौके पर परिवारों के भी 10 से ज्यादा लोग इकट्ठे ना हों.

बाइडेन का कोरोना को लेकर साफ रुख

अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव जीतने वाले जो बाइडेन पहले से ही ट्रंप प्रशासन के कोरोना संकट प्रबंधन को लेकर सवाल उठाते रहे हैं और उनका मानना है कि कोरोना को लेकर गंभीरता से काम किए जाने की जरूरत है. कई सारे पश्चिमी देशों में एक कार्यक्रम होता है 'थैंक्सगिविंग डे'. इस दिन पर लोग जुटकर नई फसल आने का जश्न मनाते हैं. जो बाइडेन ने कहा है कि पब्लिक हेल्थ एक्सपर्ट्स ने उनसे कहा है कि थैंक्सगिविंग कार्यक्रम में 10 से ज्यादा लोग शामिल नहीं होना चाहिए.

इसके अलावा बाइडेन कोरोना वैक्सीन जल्द से जल्द लाए जाने को लेकर भी जोर दे रहे हैं. अमेरिकी हेल्थ एक्सपर्ट डॉ फाउची का कहना है कि

महामारी से जूझ रहे अमेरिका में हालात सामान्य होने में 2021 के अप्रैल से जुलाई तक का समय लग सकता है. मुझे लगता है देश तुलनात्मक तौर पर 2021 के अप्रैल या जुलाई तक सामान्य हो सकता है.
डॉ फाउची

एक्शन में दिख रही है दिल्ली सरकार

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने हाल में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बताया है कि उन्होंने कुछ बाजारों को बंद करने के लिए गृह मंत्रालय से मंजूरी मांगी है. इसके अलावा शादी में 200 लोगों के इकट्ठा होने की लिमिट को भी दिल्ली सरकार ने घटाकर 50 लोग कर दिया है. लेकिन अभी भी जब दिल्ली में कोरोना संकट गहरा रहा है, सरकार ने 50 लोगों को मंजूरी दी हुई है.

दिल्ली में कोरोना की तीसरी वेव के बाद और लगातार बढ़ रहे केस को देखते हुए एक्सपर्ट्स कोरोना को गंभीरता से लेने पर जोर दे रहे हैं. खासतौर से त्योहारी सीजन में संक्रमण दर काफी ज्यादा बढ़ी है. ऐसे में आने वाले दिनों में दिल्ली और आसपास के इलाकों में सख्ती देखने को मिल सकती है,.

दिल्ली सरकार ऐसे बाजारों को चिन्हित करने पर काम कर रही है, जहां पर कुछ दिन के लिए लॉकडाउन लगाया जाना चाहिए. अगर गृह मंत्रालय दिल्ली सरकार को मंजूरी दे देता है तो दिल्ली सरकार ऐसे मार्केट्स को बंद कर सकते हैं जहां पर सोशल डिस्टेंसिंग का सही से पालन नहीं हो रहा है.

मुख्यमंत्री ने कहा, हम नहीं चाहते कि किसी भी बाजार को बंद किया जाए लेकिन अगर सारी कोशिशों के बावजूद भी अगर किसी बाजार में सोशल डिस्टेंसिंग और मास्क का इस्तेमाल नहीं किया जा रहा और वह इलाका हॉटस्पॉट बन जाता है तो उसे कुछ दिनों के लिए बंद करने की अनुमति दिल्ली सरकार को दी जाए. ऐसा प्रस्ताव केंद्र सरकार को भेजा जा रहा है। इसके लिए मैंने उपराज्यपाल को भी लिखा है.

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