अमेरिका के रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन 3 दिवसीय भारत दौरे पर शुक्रवार को दिल्ली पहुंच गए हैं. इस दौरे में अमेरिकी रक्षा मंत्री चीन की आक्रामक नीति और रक्षा सौदों को समेत कई मुद्दों पर चर्चा करेंगे. लॉयड ऑस्टिन के दौरे से पहले अमेरिका के सीनियर सीनेटर ने ऑस्टिन से आग्रह किया है कि वे रूस के साथ भारत की प्रस्तावित एयर डिफेंस सिस्टम डील का विरोध करें.
भारत-रूस रक्षा सौदे पर अमेरिका को आपत्ति
यूएस सीनेट फॉरेन रिलेशंस कमिटी के चेयरमैन बॉब मेनेंडेज ने रक्षा मंत्री ऑस्टिन से भारत को साफ संदेश देने के लिए कहा है कि, “अमेरिका रूस के साथ भारत की प्रस्तावित रक्षा डील के विरोध में है.”
भारत और रूस के बीच S-400 मिसाइल सिस्टम को लेकर समझौता हुआ है और इस साल के अंत तक रूस से S-400 मिसाइल सिस्टम भारत पहुंचना शुरू हो जाएगा. अमेरिका ने रूस पर कई प्रतिबंध लगा रखे है और अमेरिकी कानून के अनुसार अमेरिका का सहयोगी देश रूस से हथियार समझौता नहीं कर सकता है.
इसे लेकर यूएस सीनेट फॉरेन रिलेशंस कमिटी के चेयरमैन बॉब मेनेंडेज ने कहा कि, “अगर भारत रूस के साथ S-400 मिसाइल की डील करता है तो यह CAATSA कानून के विरुद्ध होगा.”
हालांकि भारत पहले ही यह स्पष्ट कर चुका है कि एक संप्रभु देश होने के नाते वह किसी भी देश से हथियार खरीदने के लिए स्वतंत्र है.
चीन से जुड़े मुद्दे और डिफेंस डील पर होगी चर्चा
अमेरिका में बाइडेन सरकार बनने के बाद ये अमेरिका के किसी मंत्री का पहला भारत दौरा है. इस दौरे में भारत और अमेरिका चीन के आक्रामक रवैये और डिफेंस डील को लेकर बातचीत करेंगे.
भारत अमेरिका से आर्म्ड ड्रोन समेत 150 कॉम्बेट जेट खरीदने की योजना बना रहा है, ताकि चीन के साथ सैन्य शक्ति का संतुलन बनाया जा सके.
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