वीडियो एडिटर: कनिष्क दांगी
उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के पूर्वांचल में गंगा नदी उफान पर है. गंगा खतरे के निशान से ऊपर बह रही है. जिस वजह से वाराणसी समेत कई जिलों में बाढ़ (Flood) का पानी घुस आया है. पूर्वांचल के मिर्जापुर, भदोही, चंदौली, बलिया और गाजीपुर भी बाढ़ की चपेट में है.
बाढ़ का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि गंगा खतरे के निशान से 30 सेंटीमीटर ऊपर बह रही है. वाराणसी में गंगा का खतरा बिंदु 71.26 मीटर है.
मिर्जापुर में कई गांव डूबे
तटवर्ती क्षेत्रों के गांवों में लगातार पानी बढ़ रहा है, जिस वजह से लोग परिवार और मवेशियों के साथ पलायन करने को मजबूर हैं. यही नहीं खेतों में पानी घुस जाने की वजह से किसानों की फसलें भी बर्बाद हो गई हैं.
मिर्जापुर के रहने वाले कोम ब्लॉक के महेश कुमार तिवारी ने बताया कि गांव में करीब 100 घर पानी में पूरी तरह से डूब गए हैं. वो कहते हैं, "अचानक पानी आने की वजह से लोगों को दिक्कत हो रही है. गांव वालों के साथ मिलकर लोगों के सामान और गाय-भैंस को बचाने का काम हो रहा है. कई लोगों का सामान गंगा नदी में बह गया है."
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक बलिया-गाजीपुर मार्ग समेत कई अहम रास्तों पर बाढ़ के कारण आवागमन बंद हो गया है.
वाराणसी में पानी ही पानी
पीएम मोदी का संसदिय क्षेत्र वाराणसी भी बाढ़ की चपेट में है. मणिकर्णिका घाट पर भी पानी है. जिस वजह से लोगों को अंतिम संस्कार में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. मणिकर्णिका घाट जाने वाली गली में लोग नाव में शव रखकर ले जा रहे हैं.
बाढ़ की वजह से न गांवों के साथ-साथ शहरी इलाकों में भी जलप्रलय जैसे हालात पैदा हो गए हैं.
गंगा और इसकी सहायक नदी वरुणा की बाढ़ की वजह से शहर के कई मोहल्लों-गलियों में नाव चलना शुरू हो गई हैं.
एनडीआरएफ पहुंचा रही मदद
बनारस के सामने घाट ज्ञानप्रवाह नाले में पानी लगातार बढ़ रहा है, जिस वजह से मारुति नगर, हरिओम नगर, गायत्री नगर के लोगों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है. बाढ़ग्रस्त इलाके में एनडीआरएफ नाव से पेट्रोलिंग कर बाढ़ पीड़ितों की मदद पहुंचा रही है.
वहीं आजमगढ़, मऊ और बलिया में मौजूद घाघरा नदी भी ऊफान पर है. जौनपुर में गोमती नदी का जलस्तर भी बढ़ा है.
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