75 के उम्र के फार्मूले के आधार पर केंद्रीय मंत्री जीएम सिद्देश्वरा और अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री नजमा हेपतुल्लाह ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. दोनों केंद्रीय मंत्रियों ने राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी को अपना इस्तीफा मंगलवार शाम को सौंपा.
नजमा की जगह मुख्तार अब्बास नकवी को अल्पसंख्यक मंत्रालय का स्वतंत्र प्रभार सौंपा गया.
सिद्देश्वरा की जगह सुप्रियो
कर्नाटक से राज्यमंत्री जीएम सिद्देश्वरा ने भी अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. सिद्धेश्वरा भारी उद्योग मंत्रालय में राज्यमंत्री थे. उनकी जगह अब बाबुल सुप्रियो लेंगे, जो अभी तक शहरी विकास मंत्रालय में राज्यमंत्री थे.
बाबुल सुप्रियो को भारी उद्योग और लोक उपक्रम मंत्रालय का राज्यमंत्री बनाया गया है.
नेताओं में थी नाराजगी
मध्यप्रदेश के कैबिनेट विस्तार में बुजुर्ग होने का हवाला देकर मंत्री पद से हटाए गए विधायक सरताज सिंह ने नाराजगी जाहिर करते हुए कहा था कि 75 का फाॅर्मूला केंद्रीय मंत्रियों पर भी लागू होना चाहिए. उनका इशारा 75 की उम्र पार कर चुके केंद्रीय मंत्री नजमा हेपतुल्लाह और कलराज मिश्र पर था.
30 जून को मध्यप्रदेश मंत्रिमंडल फेरबदल के समय उम्रदराज मंत्रियों- बाबूलाल गौर और सरताजसिंह की छुट्टी के बाद कहा गया था कि 75 साल से ऊपर के विधायकों को मंत्रिमंडल में नहीं रखा जाएगा. तब यह भी कहा गया था कि यही फाॅर्मूला केन्द्रीय मंत्रिमंडल में फेरबदल के समय भी अपनाया जाएगा
मोदी मंत्रिमंडल में फेरबदल से पहले चर्चाएं गर्म थीं कि नजमा हेपतुल्ला और कलराज मिश्र को मंत्रिमंडल से विदा किया जा सकता है. मगर दोनों ही मंत्रिमंडल में बने रहे.
केंद्रीय मंत्रिमंडल विस्तार में फाॅर्मूला लागू न होने से कई नेताओं में नाराजगी थी.
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