लोकसभा चुनाव के नतीजों और मंत्रिमंडल के गठन के बाद अब 17वीं लोकसभा का पहला सत्र शुरू होने जा रहा है. लेकिन अभी तक लोकसभा स्पीकर का नाम फाइनल नहीं हुआ है. लोकसभा स्पीकर की इस रेस में कई नाम भी सामने आने लगे हैं. बताया जा रहा है कि फिलहाल इस पद के लिए चार वरिष्ठ सांसदों का नाम चर्चा में है. सत्र शुरू होने के दो दिन बाद यानि 19 जून को लोकसभा स्पीकर का चुनाव संभव है.
इन चार नामों पर चर्चा
इकनॉमिक टाइस्म के मुताबिक लोकसभा स्पीकर के लिए जिन चार नामों पर चर्चा चल रही है, उनमें सुल्तानपुर से सांसद मेनका गांधी का नाम सबसे ऊपर है. मेनका गांधी को प्रोटेम स्पीकर भी बनाया जा सकता है. मेनका 8 बार सांसद रह चुकी हैं. उनके अलावा दूसरा नाम मध्य प्रदेश की टीकमगढ़ सीट से सातवीं बार सांसद बने विरेंद्र कुमार का है. वो इस सीट पर 1996 से लगातार सांसद हैं. पिछली मोदी सरकार में उन्हें महिला एवं बाल विकास तथा अल्पसंख्यक राज्य मंत्री बनाया गया था.
लोकसभा के लिए डिप्टी स्पीकर का भी चयन होना है. बताया जा रहा है कि इस पर बीजेपी अपनी सहयोगी पार्टियों में से किसी को मौका दे सकती है. इस पद के लिए शिवसेना ने भी दावा पेश कर दिया है. शिवसेना ने कहा है कि ये पद हमें मिलना चाहिए क्योंकि ये हमारा हक है
एसएस अहलूवालिया भी लोकसभा स्पीकर की रेस में शामिल हैं. उन्हें सदनों के कामकाज का अच्छा खासा अनुभव है. बीजेपी में आने से पहले अहलूवालिया पूर्व पीएम राजीव गांधी की सरकार में चार बार राज्य सभा सांसद रह चुके हैं. उन्होंने पिछले लोकसभा चुनाव में दार्जलिंग लोकसभा सीट पर जीत दर्ज की थी. वहीं इस बार दुर्गापुर-बर्धमान से उन्होंने चुनाव जीता. उन्होंने राज्यसभा में बीजेपी के उप नेता के तौर पर भी काम किया है.
इस सभी के अलावा एक और नाम रेस में बताया जा रहा है. 6 बार बीजेपी सांसद रहे पूर्व कृषि मंत्री राधा मोहन सिंह को भी लोकसभा स्पीकर बनने का मौका मिल सकता है. उनके अलावा मध्य प्रदेश इकाई के पूर्व अध्यक्ष नंद कुमार सिंह के नाम पर भी चर्चा चल रही है.
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