पंजाब विधानसभा चुनाव (Punjab Election) में आम आदमी पार्टी (AAP) अभूतपूर्व बहुत हासिल करते हुए सरकार बनाने जा रही है. 117 विधानसभा सीटों वाले इस राज्य में AAP ने कुल 92 सीटों पर जीत दर्ज की है. इसके अलावा कांग्रेस को सिर्फ 18 सीटों के साथ ही सब्र करना पड़ा, तो वहीं शिरोमणी अकाली दल ने 4 सीटों पर कब्जा जमाया है. अगर बीजेपी की बात की जाए तो उसे 2 सीट और अन्य के खाते में 1 सीट गई है. पंजाब में जिस तरह से केजरीवाल की पार्टी ने बहुमत हासिल किया, ऐसा किसी ने सोचा नहीं था. अब सवाल ये उठ रहा है कि दिल्ली के बाद पंजाब में सरकार बनाने वाली AAP का अगला टारगेट कौन सा राज्य होगा.
2012 में हुई थी AAP की शुरुआत
26 नवंबर, 2012 को संविधान दिवस के मौके पर इंजीनियर से सिविल सेवक और एक्टिविस्ट बने अरविंद केजरीवाल ने इंडिया अगेंस्ट करप्शन (IAC) के अन्य सदस्यों के साथ, आम आदमी पार्टी (AAP) की शुरुआत की. नौ साल बाद, केजरीवाल की AAP भारत में सबसे तेजी से बढ़ती राजनीतिक पार्टी बन गई है क्योंकि झाडू ने पंजाब विधानसभा चुनावों में बड़ी जीत हासिल की है. लेकिन अगर दूसरी ओर देखा जाए तो उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के विधानसभा चुनावों में पार्टी ने बहुत अच्छा प्रदर्शन नहीं किया.
आम आदमी पार्टी के दिल्ली संयोजक गोपाल राय ने कहा कि यूपी और उत्तराखंड में AAP ने पहली बार चुनाव लड़ा लेकिन यहां पर उम्मीदों के मुताबिक पार्टी का प्रदर्शन अच्छा नहीं रहा.
इन राज्यों में पार्टी के प्रदर्शन पर दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि ऐसा इसलिए हो सकता है क्योंकि पार्टी इन राज्यों पर उतना ध्यान नहीं दे सकी जितना पंजाब में दिया.
हमने गोवा, उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश में उम्मीदवार खड़े किए थे, लेकिन कहीं न कहीं हमारा ध्यान पंजाब पर था. धीरे-धीरे इन राज्यों के लोग भी हमारी पार्टी पर विश्वास करने लगेंगे.मनीष सिसोदिया, डिप्टी सीएम, दिल्ली
मनीष सिसोदिया का कहना है कि चुनाव नतीजे यह साबित करते हैं कि केजरीवाल शासन का मॉडल अब राष्ट्रीय स्तर पर स्थापित हो गया है. केजरीवाल मॉडल में शिक्षा, स्वास्थ्य सेवा, रोजगार के अवसरों और महिलाओं की सुरक्षा पर ध्यान केंद्रित करना शामिल है. केजरीवाल स्वतंत्रता सेनानियों, भीमराव अंबेडकर और भगत सिंह के सपनों को पूरा कर रहे हैं. यह पार्टी की जीत नहीं बल्कि आम आदमी की जीत है. पंजाब ने केजरीवाल के शासन मॉडल को मौका दिया है.
पंजाब के बाद किस राज्य की ओर कूच करेगी AAP?
हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक पिछले दिनों पार्टी के सीनियर लीडर्स ने कहा था कि आम आदमी पार्टी के लिए पंजाब के बाद अगला कदम दिसंबर 2022 में होने वाले गुजरात चुनावों में 'अच्छी' लड़ाई के साथ जीत सुनिश्चित करना होगा.
यह देखते हुए कि भारतीय जनता पार्टी (BJP) गुजरात में सबसे मजबूत रही है, AAP अपने टारगेट पर काम कर रही है. गुजरात चुनावों के लिए पार्टी की योजना बीजेपी के सामने विपक्षी दल के रूप में उभरने की है और कांग्रेस को तीसरी भूमिका निभाने के लिए छोड़ देना है.
आम आदमी पार्टी के नेताओं का कहना है कि पंजाब के नतीजों ने गुजरात में हमारे पार्टी कैडर को प्रेरित किया है. हम इन नौ महीनों में गुजरात में बीजेपी के खिलाफ मुख्य दावेदार बनने के लिए पूरी ताकत लगाएंगे. यहां की जनता ने पिछले 27 सालों से कांग्रेस को नकारा है, हमें यकीन है कि हम कांग्रेस को मात देने में कामयाब होंगे. पंजाब में मिलने वाली जीत के बाद राज्य में हमारे समर्थकों को भी एक नई उम्मीद मिलेगी.
एनडीटीवी की रिपोर्ट के मुताबिक AAP नेता अक्षय मराठे ने कहा कि आम आदमी पार्टी, पंजाब में अपनी भारी जीत दर्ज की है. इसके अलावा पार्टी पहले से ही गुजरात और हिमाचल प्रदेश राज्यों के लिए काम कर रही है.
हम गुजरात और हिमाचल प्रदेश जरूर जाएंगे, ये दो राज्य हमारे रडार पर हैं और पार्टी इन राज्यों में कार्यकर्ताओं को भेजती रही है, निश्चित तौर पर इसका बड़ा असर होगा.अक्षय मराठे, नेता, AAP
उन्होंने आगे कहा कि हमने हमेशा ये देखा है कि बड़े राजनीतिक लोग हमारी उपस्थिति को स्वीकार नहीं करते लेकिन हम उन्हें क्लीन स्वीप कर देते हैं.
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