पश्चिम बंगाल और तमिलनाडु के बाद अब गृहमंत्री अमित शाह ने असम चुनावों की भी तैयारियां शुरू कर दी हैं. अगले साल असम में भी विधानसभा चुनाव होने हैं, जिसके लिए चुनावी माहौल बनाने की शुरुआत खुद गृहमंत्री शाह ने की है. वो दो दिन के पूर्वोत्तर दौरे पर हैं. अमित शाह ने गुवाहाटी पहुंचकर विपक्ष पर जमकर हमला बोला. उन्होंने कहा कि असम में विकास को नई गति मिल रही है. उन्होंने कहा कि अब चुनावों में अलगाववाद की की बात करने वाले चेहरा बदलकर आएंगे.
असम की शांति को भंग कर दिया था
बीजेपी ने असम में कांग्रेस के हाथ से सत्ता छीनकर पिछले चुनावों में अपनी सरकार बनाई थी. अब पार्टी की कोशिश है कि वो और मजबूती के साथ राज्य में सरकार बनाए. इसीलिए गृहमंत्री अमित शाह खुद चुनावी तैयारियों का जायजा लेने और कार्यकर्ताओं का हौसला बढ़ाने यहां पहुंचे. शाह ने गुवाहाटी में कहा,
“असम में लगभग साढ़े 4 साल से असम के अंदर जो विकास की यात्रा मोदी जी के नेतृत्व में यहां सर्वानंद सोनोवाल और हेमंत विश्वा शर्मा की जोड़ी ने आगे चलाई है, इसका एक महत्वपूर्ण पड़ाव आज है. असम में एक समय आंदोलनों का दौर आया, अलग-अलग बातों को लेकर आंदोलन हुए, सैकड़ों युवा मारे गए. असम की शांति को भंग कर दिया गया, साथ ही असम के विकास को रोक दिया गया.”
‘चुनावों में चेहरा बदलकर आएंगे ये लोग’
शाह ने राज्य में अपनी सरकार की तारीफ करते हुए कहा कि, मुझे आज बड़ा आनंद है कि श्रीमंत शंकरदेव का जो जन्मस्थान था, वो घुसपैठियों ने कब्जाया हुआ था. उसे खाली करके आज शंकर देव की महान स्मृति को चीर काल तक स्थायी करने का काम हेमंत विश्वा शर्मा और हमारे मुख्यमंत्री जी करने जा रहे हैं. कांग्रेस पर हमला बोलते हुए शाह ने कहा कि, "एक जमाने में यहां के सारे राज्यों में अलगाववादी अपना एजेंडा चलाते थे, युवाओं के हाथों में बंदूक पकड़ाते थे. विचार का परिवर्तन भी विकास के लिए जरूरी है." शाह ने आगे कहा,
“चुनाव का मौसम आने वाला है. फिर से ये अलगाववाद की बात करने वाले चेहरा और रंगरूप सब बदलकर लोगों के बीच मे आएंगे. हमें उल्टा सुलटा समझाएंगे, आंदोलन की दिशा में ले जाएंगे.”
बता दें कि पिछले असम विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने यहां की कुल 126 विधानसभा सीटों में से 60 सीटों पर जीत हासिल की थी. वहीं कांग्रेस सिर्फ 26 सीटों पर सिमट गई थी. बीजेपी ने यहां असम गण परिषद (एजीपी) और बीपीएफ से समझौता किया था और साथ मिलकर सरकार बनाई थी.
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