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बैंक खाताधारक और मोबाइल ग्राहकों से करोड़ों लूट रही सरकार-कांग्रेस

सुरजेवाला ने मोदी सरकार द्वारा खाताधारकों के ब्याज की लूट की क्रोनोलॉजी को समझाया।

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कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर पीएम मोदी पर निशाना साधा है. सुरजेवाला ने कहा कि मोदी सरकार की खाताधारकों के 7000 करोड़ के ब्याज को लूटकर डूबते बैंकों को बचाने और प्रीपेड मोबाइल ग्राहकों से 1,60,000 करोड़ की लूट के ‘नए प्रयोग’की क्रोनोलॉजी को समझाना जरूरी है.

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यस बैंक - संयोग या प्रयोग

सुरजेवाला ने यस बैंक संकट का जिक्र करते हुए कहा, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया में 44.51 करोड़ खाताधारक हैं. कल स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने सेविंग्स अकाउंट का ब्याज 3.25 प्रतिशत से कम कर 3 प्रतिशत कर दिया. फिक्स डिपॉज़िट का ब्याज भी 10 से 50 बेसिस प्वाईंट तक कम कर दिया, यानि लगभग 0.25 प्रतिशत से 0.50 प्रतिशत तक कम किया.

सुरजेवाला ने कहा कि 2018-19 की SBI की बैलेंसशीट के मुताबिक सेविंग्स अकाउंट में 10,91,751 करोड़ रुपये जमा हैं. यदि ब्याज 0.25 प्रतिशत कम होता है, तो खाताधारकों को सालाना ब्याज का नुकसान 2,729 करोड़ रपये है.

इसी प्रकार 2018-19 की SBI की बैलेंस शीट के मुताबिक फिक्स्ड डिपाॉजिट की राशि 16,14,058 करोड़ है. यदि 0.25 प्रतिशत ब्याज भी कम होता है, तो फिक्स्ड डिपॉजिट धारकों को ब्याज में सालाना 4,035 करोड़ का नुकसान है. यह रकम ही 6,764 करोड़ रुपये. (2,729 रु.+ 4,035 रु.) बनती है.

SBI की 2019-20 की बैलेंस शीट अभी आना बाकी है. स्वाभाविक है कि खाताधारकों की राशि बढ़ने से सालाना ब्याज केनुकसान की राशि 7000 करोड़ रुपये हो जाएगी. साथ ही स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने एक Restructuring Scheme बनाकर, जिसकी आज मोदी कैबिनेट ने मंजूरी दी है, निर्णय किया है कि स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, YES Bank में 7250 करोड़ रुपया लगाएगा. मतलब साफ है, 44.51 करोड़ खाताधारकों के पैसे पर 7000 करोड़ रुपये का ब्याज काटो और डूबते हुए YES Bank में लगाओ. इसे कहते हैं, माल जनता का, मशहूरी कंपनी की.

मोदी के संयोग व प्रयोग का नतीजा

सुरजेवाला ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कई सवाल भी खड़े किए. उन्होंने इसमें प्रीपेड मोबाइल ग्राहकों और सेल फोन टैरिफ का जिक्र किया.

  1. एसबीआई के 44.51 करोड़ खाताधारकों का 7,000 करोड़ रुपये का सालाना ब्याज काटकर डूबते हुए YES Bank में निवेश क्यों?
  2. मोदी सरकार ने 112 करोड़ प्रीपेड सेल फोन ग्राहकों पर 1,60,028 करोड़ रुपये का अतिरिक्त बोझ डाल उनकी मेहनत कीकमाई पर डाका क्यों डाला है?
  3. क्या सेल फोन कंपनियों द्वारा सेल फोन टैरिफ (शुल्क) व डेटा यूज़ेज़ चार्ज 40 प्रतिशत तक बढ़ाकर कंपनियों द्वारा दिएजाने वाले 1,02,000 करोड़ के भुगतान की वसूली की जा रही है?

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