दिल्ली शराब नीति मामले में कथित घोटाले के आरोप में गिरफ्तार पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) को कोर्ट में पेश किया गया. लेकिन कोर्टसे उन्हें फौरी राहत नहीं मिली और उनकी रिमांड 6 मार्च तक के लिए बढ़ा दी गई है.
बता दें कि मनीष सिसोदिया को रविवार, 26 फरवरी को सीबीआई ने 8 घंटे की पूछताछ के बाद गिरफ्तार किया था. तब से वो सीबीआई की हिरासत में हैं.
सिसोदिया ने जमानत अर्जी में क्या कहा था?
इससे पहले सिसोदिया ने अपनी जमानत अर्जी में कहा कि केंद्रीय जांच एजेंसी द्वारा बुलाए जाने पर वह जांच में शामिल हो गए हैं. इसके साथ ही उन्होंने कहा था कि उन्हें हिरासत में रखने से कोई उद्देश्य पूरा नहीं होगा, क्योंकि सभी बरामदगी पहले ही की जा चुकी है. साथ ही कहा कि इस मामले में गिरफ्तार अन्य आरोपियों को पहले ही जमानत मिल चुकी है.
दरअसल, सीबीआई ने सिसोदिया को 26 फरवरी को आठ घंटे की लंबी पूछताछ के बाद गिरफ्तार किया था, 27 फरवरी को कोर्ट ने उन्हें 5 दिन की सीबीआई कस्टडी में भेज दिया था. सिसोदिया ने जमानत के लिए पहले सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था, लेकिन सर्वोच्च अदालत ने उन्हें पहले हाई कोर्ट जाने को कहा था. इसके बाद उन्होंने निचली अदालत में जमानत याचिका दायर की थी.
क्यों सिसोदिया को गिरफ्तार किया गया है?
मनीष सिसोदिया की गिरफ्तारी 2021-22 के लिए बनाई गई दिल्ली शराब नीति (Delhi's Liquor Policy Controversy) में कथित भ्रष्टाचार के संबंध में है. बता दें यह नीति रद्द की जा चुकी है. सीबीआई की एफआईआर में आरोपी नंबर एक सिसोदिया से पहले 17 अक्टूबर को पूछताछ की गई थी, इस बाद एजेंसी ने 25 नवंबर को चार्जशीट दायर की थी.
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)