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हरियाणा नगर निगम चुनाव में मेयर पदों पर बीजेपी का क्लीन स्वीप 

हरियाणा के नगर निगम चुनावों में  बीजेपी ने बढ़त बना रखी है

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हरियाणा में पांच नगर निगमों और कमेटियों के चुनाव में बीजेपी ने जबरदस्त जीत दर्ज की है. मेयर पदों के लिए हुए चुनाव में बीजेपी सभी पांच शहरों में जीती. आपको बता दें कि पार्षद और मेयर पद के लिए 16 दिसंबर को वोट डाले गए थे और 19 दिसंबर को नतीजे घोषित किए गए.

ये चुनाव हिसार, रोहतक, यमुनानगर, पानीपत और करनाल के नगर निगमों और कमेटियों के लिए हुए.

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पानीपत नगर निगम मेयर पद की प्रत्याशी अवनीत कौर ने रिकॉर्ड 74 हजार 940 वोटों से जीत हासिल की है. अवनीत कौर को 1 लाख 26 हजार 321 वोट मिले थे. करनाल में रेणु बाला गुप्ता 9348 वोट से जीती हैं. वहीं यमुनानगर में बीजेपी उम्मीदवार मदन चौहान ने 40 हजार 678 वोट और हिसार में गौतम सरदाना ने 28 हजार 91 वोट से जीत दर्ज की. भूपेंद्र हुड्डा के गढ़ रोहतक में चुनाव लड़ रहे बीजेपी उम्मीदवार मदन मोहन गोयल 14 हजार 776 वोटों से विजयी हुए हैं. हालांकि आपको बता दें कि कांग्रेस और इनेलो ने इन चुनावों में अपनी पार्टी के सिंबल के साथ एक भी उम्मीदवार खड़ा नहीं किया था, हालांकि कई निर्दलीय उम्मीदवारों को उनका समर्थन जरूर मिला हुआ था.

पार्षदों के चुनाव में रहा बराबर मुकाबला

मेयर के चुनावों में तो बीजेपी को डायरेक्ट जीत मिली है लेकिन पांचों शहरों में जो अलग-अलग वार्ड में पार्षदी के चुनाव हुए वहां मुकाबला बराबरी का ही रहा. पानीपत के 26 वार्डों में से 22 पर भाजपा की जीत हुई है जबकि यमुनानगर के 22 में से 13 वार्डों में जीत मिली है. हिसार के 20 में से 7, करनाल के 20 में से 12 और रोहतक के 22 में से 8 वार्ड भाजपा ने जीते हैं.

नगरपालिका चुनावों में बना इतिहास

  • मेयर की पोस्ट के लिए पहली बार डायरेक्ट चुनाव हुए हैं.
  • 136 वार्ड में कुल 14,01,454 रजिस्टर्ड वोटर हैं.
  • राज्य चुनाव आयोग का कहना है कि इनमें 744,468 पुरुष वोटर हैं तो वहीं 656,986 महिला वोटर हैं.
  • अधिकारियों का कहना है कि चुनाव इतिहास में पहली बार देश में नगरपालिका चुनावों में ईवीएम के अंदर NOTA का ऑप्शन भी रखा गया है.
  • इन चुनावों में बीजेपी के प्रत्याशी लड़ रहे हैं तो वहीं कांग्रेस और इनेलो ने पार्टी सिंबल के साथ किसी भी उम्मीदवार को नहीं उतारा. हालांकि उन्होंने कई उम्मीदवारों को सपोर्ट जरूर किया है.
  • इन चुनावों को 2019 आम चुनावों से पहले काफी जरूरी माना जा रहा है.
  • हरियाणा में बीजेपी अक्टूबर 2014 से सत्ता में है.

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