मध्य प्रदेश कांग्रेस के बड़े नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया आजकल खुलकर अपनी ही पार्टी को नसीहत दे रहे हैं. सिंधिया ने अब किसानों की कर्जमाफी को लेकर अपनी ही सरकार की पोल खोल दी. मध्य प्रदेश के भिंड में एक जनसभा को संबोधित करते हुए सिंधिया ने कहा कि हमने किसानों का 2 लाख रुपये तक का कर्जा माफ करने की बात कही थी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ. अभी सिर्फ 50 हजार रुपये माफ किए गए हैं.
सिंधिया ने भिंड में एक कार्यक्रम के दौरान कई मुद्दों पर चर्चा की. जिसमें उन्होंने कमलनाथ सरकार के अधूरे कामों का भी जिक्र किया. सिंधिया ने कहा-
“जो किसान का कर्जा माफ हुआ है वो पूर्ण रूप से नहीं हुआ है. केवल 50 हजार रुपये तक हुआ है. जबकि दो लाख का कहा था. पूर्णत: किसानों का दो लाख तक कर्जा माफ होना चाहिए.”
स्वास्थ्य सुविधाओं का भी किया जिक्र
सिंधिया ने भिंड में स्वास्थ्य सुविधाओं का जिक्र करते हुए कहा, भिंड में अस्पताल एक नंबर पर आए हैं. इसी को लेकर ग्वालियर के हमारे मंत्रियों ने कहा कि भिंड का उदाहरण दो कि किस तरह से वहां प्रशासन ने अच्छी तरह से अस्पताल चलाया है. लेकिन आज मुझे सूचना मिली कि यहां डॉक्टरों का अभाव है. स्वास्थ्य मंत्री ने भिंड के लिए 6 डॉक्टरों का प्रावधान किया है.
ज्योतिरादित्य सिंधिया पर हाल ही में आरोप लगाए गए थे कि वो प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के लिए बगावत पर उतर आए हैं और गुटबाजी कर रहे हैं. हालांकि उन्होंने ऐसी सभी खबरों से इनकार किया था और कहा था कि पार्टी आलाकमान जो भी फैसला लेगी वो उन्हें मंजूर होगा.
आत्मचिंतन की कही थी बात
सिंधिया ने हाल ही में अपनी ही पार्टी कांग्रेस को नसीहत दी थी कि उन्हें आत्मचिंतन की जरूरत है. उन्होंने कहा था कि अगर कांग्रेस स्थिति में सुधार चाहती है तो उसे मौजूदा हालात की समीक्षा करनी होगी और खुद के भीतर झांकना होगा. उन्होंने कांग्रेस नेता सलमान खुर्शीद के उस बयान के ठीक बाद ये बात कही जिसमें खुर्शीद ने कहा था, "कांग्रेस अपना भविष्य तय नहीं कर सकती है. राहुल गांधी ने कई बार मनाने के बाद भी इस्तीफा दे दिया, जिससे पार्टी लोकसभा चुनाव में मिली हार की समीक्षा नहीं कर पाई."
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