बॉम्ब हाई कोर्ट ने गैर कानूनी तरीके से गर्भपात कराने के दौरान महिला की मौत के आरोपी डॉक्टर को अस्थायी जमानत देते हुए औरंगाबाद के सरकारी अस्पताल में अपनी सेवाएं देने के निर्देश दिए हैं.अदालत ने यह फैसला कोरोनावायरस की महामारी के चलते मौजूदा परिस्थितियों को देखते हुए दिया.
गर्भपात के आरोप में जेल में बंद है डॉक्टर
हाई कोर्ट की औरंगाबाद पीठ में न्यायमूर्ति टीवी नालावडे ने यह फैसला सोमवार को डॉ.सूरज राणा की याचिका पर दिया जिसमें उसने जरूरतमंदों की सेवा के लिए अस्थायी जमानत की मांग की थी.
राणा को अगस्त 2019 में गर्भपात के लिए ऑपरेशन करने और उससे हुई महिला की मौत के मामले में गिरफ्तार किया गया था.
डॉक्टर पर IPC की धारा 314 (गर्भपात कराने के इरादे से किए कार्य से मौत), धारा 201 (सबूत नष्ट करने), धारा 203 और धारा 120 बी (आपराधिक साजिश) के तहत मामला दर्ज किया गया है.
‘‘ मौजूदा परिस्थितियों को देखते हुए अदालत याचिकाकर्ता को अस्थायी जमानत देती है. आवेदक औरंगाबाद राजकीय चिकित्सा महाविद्यालय और अस्पताल के डीन से संपर्क करे और शपथपत्र दाखिल करे कि उनके निर्देश के अनुरूप अपनी सेवाएं देने को तैयार है.’’हाई कोर्ट
अदालत ले 15,000 रुपये के फाइन पर जमानत देते हुए राणा को निर्देश दिया कि वह मामले में अभियोजन पक्ष के गवाहों को प्रभावित नहीं करे. पीठ ने कहा कि अस्थायी जमानत 30 अप्रैल तक वैध रहेगी.
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