RJD करेगा बिना आदेश अतिक्रमण हटाने का विरोध
तेजस्वी यादव ने प्रशासन के अतिक्रमण हटाओ अभियान के तहत हुए कुछ फैसलों के विरोध में एक बार फिर सड़क पर उतरे. तेजस्वी यादव को पता चला कि फल बाजार तोड़ा जा रहा है. तेजस्वी मौके पर पहुंचे लेकिन दुकानों न टूटता देख तेजस्वी वहां से वापस चले गए लेकिन वहां के दुकानदारों को अपना नंबर दिया और मदद के लिए फोन करने के लिए भी कहा. हिंदुस्तान की रिपोर्ट के मुताबिक तेजस्वी ने ये भी कहा कि जब तक सक्षम अधिकारी का आदेश उन्हें नहीं दिखाया जाएगा, इस फैसले के विरोध में उनकी पार्टी आंदोलन करती रहेगी.
आरजेडी के प्रदेश अध्यक्ष पूर्वे और प्रधान महासचिव आलोक मेहता ने आयुक्त को ज्ञापन देकर कहा है कि अतिक्रमण हटाओ अभियान के बहाने सरकार गरीब, किसान और छोटे व्यापारियों को पटना नगर निगम क्षेत्र से बाहर करना चाहती है. साथ ही कुछ सवाल भी किए हैं जैसे किसके आदेश पर अतिक्रमण हटाया जा रहा है, पुनर्स्थापित करने की क्या प्लानिंग है? साथ ही अतिक्रमण किए जगह की सर्वे रिपोर्ट और ब्लूप्रिंट की भी मांग की है.
झारखंड के बाद महाराष्ट्र में चुनाव चिह्न बिना लड़ेगी JDU
चुनाव आयोग ने जनता दल (युनाइटेड) को झारखंड के बाद महाराष्ट्र में पार्टी के चुनाव चिह्न 'तीर' इस्तेमाल करने पर रोक लगा दी है. आयोग ने जेडीयू के चुनाव चिह्न 'तीर' को महाराष्ट्र की पार्टी शिवसेना और झारखंड की पार्टी झारखंड मुक्ति मोर्चा (जेएमएम) से मिलता जुलता माना है. इसलिए जेडीयू के खिलाफ ऐसा फैसला सुनाया गया है. जेडीयू ने तीर के चिह्न के साथ बिहार और अरुणाचल प्रदेश की राज्य पार्टी के रूप में अपनी जगह बना रखी है.
जेएमएम ने 24 जून को एक अर्जी दायर की थी, जिसके जवाब में यह आदेश आया है. आयोग ने लोकसभा चुनाव से पहले, मार्च में जेएमएम और शिवसेना के चुनाव चिह्नों को भी बिहार में प्रतिबंधित कर दिया था.
झारखंड प्रदेश जेडीयू के प्रवक्ता और महासचिव श्रवण कुमार ने कहा, ‘चुनाव आयोग हमारी पार्टी को राज्य में जो भी चुनाव चिह्न देगा, वह हमें स्वीकार्य होगा लेकिन साथ ही राज्य में हम झारखंड मुक्ति मोर्चा के तीर-धनुष चुनाव चिह्न को भी जब्त किए जाने की मांग करेंगे क्योंकि यह आदिवासी संस्कृति से जुड़ा हुआ है,
अमित शाह की नक्सलवाद पर बैठक में नीतीश हुए शामिल
नीतीश कुमार, गृह मंत्री अमित शाह के नेतृत्व में हुए नक्सलवाद से निपटने की बैठक में शामिल हुए थे. इस मौके पर नीतीश ने कहा कि नक्सलवाद से निपटने में केंद्र सरकार को भी सार्थक पहल करनी चाहिए. वामपंथी उग्रवाद संगठनों पर असरदार कार्रवाई करने और इनको निष्प्रभावी बनाने की जिम्मेदारी राज्यों पर डालकर केंद्र सिर्फ समीक्षा की भूमिका न निभाए.
नक्सलवाद से निपटना केंद्र और राज्य सरकार दोनों की लड़ाई है. केंद्र सरकार को इस मामले में राज्यों का आर्थिक बोझ कम करना चाहिए.
नीतीश ने पुलिस के आधुनिकीकरण की बात कही और ये भी कहा कि केंद्रीय सुरक्षा बलों के डेप्यूटेशन पर होने वाले खर्च का पूरा भार राज्यों पर होता है ये खर्च भी मिलजुल कर उठाना होगा.
अनंत की जेल में बेचैनी में गुजरी रात
मोकामा के बाहुबली विधायक अनंत सिंह की पटना के बेऊर जेल में रात बेचैनी भरी रही. हालांकि इस जेल में उन्हें पूर्व विधायक राजवल्लभ यादव और आरजेडी के पूर्व सांसद विजय कृष्ण जैसे नेता भी मिल गए हैं. इन तीनों को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का धुर विरोधी माना जाता है. सूत्रों का दावा है कि अनंत का दोनों नेताओं ने जेल वार्ड में स्वागत किया था.
अनंत सिंह रात भर गर्मी और मच्छरों से परेशान रहे. उनको खाने के लिए दाल, रोटी और भिंडी की भुजिया दी गई. अनंत सिंह को बेऊर जेल में चौकी, बिछावन और कुर्सी-टेबल दिए गए हैं.
पटना पुलिस ने रविवार को अनंत को बाढ़ अदालत में पेश किया था, जहां से उन्हें 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया था. बेऊर जेल में कैदी नंबर 13617 बने ‘छोटे सरकार’ अनंत को डिवीजन वॉर्ड में रखा गया है.
गया में संदिग्ध आतंकवादी गिरफ्तार
गया जिले से कोलकाता पुलिस के एसटीएफ ने बांग्लादेशी आतंकी संगठन के एक आतंकी को गिरफ्तार किया है. गया जिले के एएसपी मंजीत कुमार ने बताया, ‘‘जमात-उल-मुजाहिदीन बांग्लादेश (जेएमबी) से जुड़े आतंकी मोहम्मद एजाज अहमद को गया जिले के मानपुर थाना क्षेत्र के पठान टोली से गिरफ्तार किया गया है. गिरफ्तारी के बाद आतंकी एजाज अहमद को गया की एक अदालत में पेश किया गया, जहां से कोलकाता पुलिस की टीम उसे लेकर पश्चिम बंगाल चली गई.’’
पुलिस सूत्रों के मुताबिक, एजाज अहमद पश्चिम बंगाल का रहने वाला है, जो जमात-उल-मुजाहिदीन का सक्रिय आतंकी है और अपना नाम बदल कर वह अपनी पत्नी और बच्चों के साथ गया के पठान टोली में रहता था. इसकी सूचना कोलकाता पुलिस को लग गई थी.
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