उत्तर प्रदेश विधानसभा का सत्र सोमवार से शुरू हो रहा है। सत्र में इस बार कुछ खास होने जा रहा है। इस बार मानसून सत्र का एक दिन सिर्फ महिला सदस्यों के नाम रहेगा।
स्पीकर सतीश महाना ने कहा, 19 सितंबर से 23 सितंबर तक सदन की कार्य मंत्रणा समिति ने जिस एजेंडा को मंजूरी दी है, उसके अनुसार 22 सितंबर को महिला सदस्यों के लिए आरक्षित किया गया है। महिलाओं के लिए आरक्षित इस दिन प्रश्नकाल के बाद केवल महिला सदस्यों को ही बोलने की अनुमति होगी।
यह पहली बार है, जब इस तरह की कदम को उठाया गया है।
स्पीकर महाना ने हाल ही में महिला विधायकों के एक समूह के साथ बातचीत में आश्वासन दिया कि मानसून सत्र में उनके लिए एक दिन आरक्षित किया जाएगा।
इस बीच, प्रमुख विपक्षी दलों ने संक्षिप्त सत्र में कानून-व्यवस्था की स्थिति, मुद्रास्फीति और जनहित के अन्य मुद्दों पर राज्य सरकार से सवाल करने की तैयारी तेज कर दी है।
राज्य सरकार ने विधायी कार्य करने का प्रस्ताव रखा है, जिसमें राज्य विधानसभा के बजट सत्र के बाद जारी किए गए अध्यादेशों के लिए नए विधेयकों को पेश करना और विधेयकों को बदलना शामिल है।
जैसा कि विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं ने मांग की है कि मानसून सत्र में अधिक बैठकें होनी चाहिए, खन्ना ने कथित तौर पर उनसे कहा कि यह इस बात पर निर्भर करेगा कि विपक्षी सदस्यों ने सदन में खुद को कैसे संचालित किया।
राज्य विधानसभा परिसर को मानसून सत्र के लिए फिर से र्निर्मित किया गया है। गैलरी और लॉबी को एक नया रूप दिया गया है।
महाना ने कहा, हां, हमने गैलरी को नया रूप दिया है। लॉबी और इंटीरियर में भी बदलाव किए गए हैं।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सोमवार को राज्य विधानसभा परिसर में विधायकों के लिए तीन दिवसीय स्वास्थ्य शिविर का भी उद्घाटन करेंगे।
तीन दिनों तक चलने वाले स्वास्थ्य शिविर में विधायकों के लिए छह डॉक्टरों की एक टीम तैनात की गई है।
महिला सदस्यों की चिकित्सा जांच के लिए सचिवालय औषधालय में स्थान उपलब्ध कराया गया है।
--आईएएनएस
पीके/एसजीके
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