सोशल मीडिया पर एक वायरल वीडियो इस झूठे दावे से शेयर किया जा रहा है कि 'जिहादियों' ने 29 मार्च को यूपी के बुलंदशहर में होली मनाने के दौरान हिंदुओं पर तेजाब फेंका.
हालांकि, बुलंदशहर के एसएसपी संतोष कुमार सिंह ने हमें बताया कि घटना में शामिल दोनों शख्स हिंदू हैं और ये दावा झूठा है. इनमें से एक का नाम टिंकू और दूसरे का नाम रोहित है.
दावा
ISKCON, कोलकाता के वाइस प्रेसीडेंट और प्रवक्ता Radharamn Das ने इस वीडियो को शेयर कर दावा किया है कि 'जिहादियों' ने बुलंदशहर में होली मना रहे हिंदुओं पर एसिड फेंका.
(नोट: नीचे लिंक में दी गई फोटो कुछ लोगों को विचलित कर सकती हैं.)
पड़ताल में हमने क्या पाया
हमें Radharamn Das के ट्वीट पर बुलंदशहर पुलिस का जवाब मिला. जिसमें बताया गया था कि घटना में शामिल दोनों शख्स की पहचान टिंकू और रोहित के तौर हुई है. ये घटना खानपुर इलाके में हुई है.
जवाब में आगे बताया गया है कि इस घटना में तीसरा कोई शामिल नहीं था. ट्वीट के मुताबिक, टिंकू ने होली के जश्न के दौरान नाचते समय अनजाने में शराब की बोतल की जगह एसिड की बोतल सर पर फोड़ ली.
क्विंट की वेबकूफ टीम से बातचीत में बुलंदशहर एसएसपी संतोष कुमार सिंह ने इस दावे को गलत बताया कि घटना में शामिल शख्स मुस्लिम थे.
उन्होंने बताया कि, “दोनों हिंदू थे. उन्होंने शराब पी रखी थी और होली के जश्न में नाच रहे थे. उनमें से एक ने कहा कि वह अपने सिर पर बोतल फोड़ सकता है और गलती से घर में रखी एसिड की बोतल ले आया. बोतल फोड़ते समय एसिड की कुछ बूंदें उसके पास ही खड़े दूसरे लड़के पर भी गिरीं. दोनों अब खतरे से बाहर हैं.’’
हमें Times of India में भी घटना से जुड़ी रिपोर्ट मिली.
मतलब साफ है कि होली का जश्न मनाते दो लड़कों का वीडियो, जिसमें एक अपने सिर पर एसिड की बोतल फोड़ते हुए दिख रहा है, इस गलत दावे से शेयर किया जा रहा है कि इस घटना के पीछे 'जिहादियों' का हाथ है.
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