मुजफ्फरनगर में 5 सितंबर को किसान महापंचायत हुई. इसे कवर करती एक पत्रकार का अपने सहयोगी से बात करते हुए एक वीडियो भ्रामक दावे से वायरल हो रहा है.
जो लोग इस वीडियो को शेयर कर रहे हैं वो रिपोर्टर को फर्जी बताकर दावा कर रहे हैं कि रिपोर्टर अपने सहयोगी से "प्रदर्शनकारी किसानों को सिखाने" के लिए कह रही है.
पिछले साल केंद्र ने तीन विवादास्पद कृषि कानूनों को पारित किया था, जिसका किसान विरोध कर रहे हैं. मुजफ्फरनगर में हुई इस महापंचायत में उन्होंने फिर से इस बात को दोहराया की जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं होतीं, तब तक उनका आंदोलन जारी रहेगा.
हमने वायरल वीडियो को धीमी स्पीड में चलाकर सुना और पाया कि पत्रकार अपने सहयोगी को चारों ओर घूमने और ''सब कुछ'' दिखाने के लिए कह रही थी.
दावा
BJP मुंबई के प्रवक्ता सुरेश नहुआ ने एक ट्वीट में इस वीडियो को शेयर करते हुए लिखा: ''तथाकथित किसान नेता का फर्जी मीडिया "जल्दी जल्दी सबको सीखा देना।" क्या सिखाना है देवीजी?"
पड़ताल में हमने क्या पाया
दावे की जांच करने के लिए हमने वीडियो को डाउनलोड किया और उसके चलने की ओरिजिनल स्पीड को 65 प्रतिशत तक धीमा किया.
वीडियो का ध्यान से देखने पर हमने पाया कि पत्रकार कह रही हैं, "चलो, जल्दी जल्दी सब कुछ दिखा देना."
वीडियो में पत्रकार को अपने सहयोगी से बात करते समय इशारे से इधर-उधर देखने के लिए कहते हुए देखा जा सकता है.
NewsX के संवाददाता राहुल गौतम, जो इस महापंचायत को कवर रहे थे. उन्होंने भी ट्वीट कर कहा कि उन्होंने रिपोर्टर को ये कहते हुए सुना है, ''जल्दी-जल्दी सब कुछ दिखा देना.''
मतलब साफ है कि किसान महापंचायत का वीडियो झूठे और भ्रामक दावे से शेयर किया जा रहा है.
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