जाति आधारित आरक्षण के खिलाफ बोलते कांग्रेस के पूर्व सदस्य आचार्य प्रमोद कृष्णम का एक वीडियो सोशल मीडिया पर लोकसभा चुनाव (Loksabha Election 2024) से जोड़कर वायरल है.
क्या कह रहे प्रमोद कृष्णम ?:
वीडियो में प्रमोद कृष्णम कहते दिख रहे हैं , 'जातिवादी नेता होने का हम पर हमला वो नेता करते हैं जो एक - एक जातियों के नेता हैं. जिनकी, हैसियत एक - एक जाति है. ये पिद्दी न पिद्दी के शोरबे हम लोगों को धमकाने की बात करते हैं. मैं कहना चाहता हूं, अगले महाकुंभ में एक प्रस्ताव आना चाहिए. यदि भारतीय लोकतंत्र से, भारतीय राजनीति से जातिवाद को हटाना चाहते हैं. और भारत के संविधान में बाबा साहब अंबेडकर ने ये व्यवस्था दी है. ये हमारा प्रियेंबल है कि भारत के अंदर धर्म, जाति और लिंग के आधार पर कोई भेदभाव नहीं होगा. और यदि बाबा साहब अंबेडकर ने ये व्यवस्था दी है, तो आप सोचो केि जाति के आधार पर ये आरक्षण भारत को विभाजित कर रहा है. तो अगली बार कुंभ में ये प्रस्ताव आएगा, कि भारत को जातिगत आरक्षण से मुक्त किया जाए.
रिपोर्ट लिखे जाने तक इस पोस्ट को 4.26 लाख से ज्यादा बार देखा जा चुका है. यही दावा करते अन्य पोस्ट्स के अर्काइव यहां और यहां देखे जा सकते हैं.
क्या यह सच है?: प्रमोद कृष्णम का ये भाषण हाल का नहीं है.
ये भाषण प्रमोद कृ्ष्णम ने सितंबर 2023 को हरिद्वार में दिया था. प्रमोद उस समय कांग्रेस पार्टी का हिस्सा थे. उन्हें 10 फरवरी को 'अनुशासनहीनता' और 'पार्टी विरोधी बयानों' का हवाला देते हुए पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था.
हमने सच कैसे पता लगाया ?: सबसे पहले, हमने वीडियो पर 'बीजीटी न्यूज' का लोगो देखा।
फिर, हमने "प्रमोद कृष्णम ब्राह्मण जाति बीजीटी समाचार" जैसे कीवर्ड्स सर्च किए.
हमें बीजीटी के पेज पर प्रमोद कृष्णण के भाषण का लंबा वर्जन मिला.
जो हिस्सा वायरल हो रहा है वो इस पूरे भाषण में 1:39 मिनट पर आता है. इसी हिस्से को हाल का बताकर शेयर किया जा रहा है.
वीडियो हाल का नहीं है. इसे 26 सितंबर 2023 को अपलोड किया गया था।
हमें आचार्य प्रमोद कृष्णम की तरफ से न्यूज एजेंसी ANI को दिया गया एक बयान मिला.
उन्होंने ANI को बताया कि वीडियो एक साल पुराना था.
आचार्य ने आगे कहा कि सच्चाई यह है कि वह 1 फरवरी को प्रधानमंत्री मोदी से मिले थे, लेकिन उनके पुराने भाषण को पीएम से जोड़ा जा रहा था और उनके खिलाफ इस्तेमाल किया जा रहा था.
प्रशांत कृष्णम ने स्पष्ट किया कि वह कांग्रेस पार्टी के साथ थे जब उन्होंने 24 सितंबर 2023 को यह बयान दिया, तब वह कांग्रेस पार्टी के साथ थे.
द हिंदी की 11 फरवरी की रिपोर्ट में बताया गया है कि प्रमोद कृष्णम को फरवरी में 'अनुशासनहीनता' और 'पार्टी विरोधी बयानों' के लिए कांग्रेस से निष्कासित कर दिया गया था.
उन्होंने 1 फरवरी को अपने एक्स अकाउंट से पोस्ट किया कि उन्होंने पीएम को "श्री कल्कि धाम" के लिए आमंत्रित किया, जो 19 फरवरी को आयोजित किया जाना था.
निष्कर्ष: जाति आधारित आरक्षण खत्म करने की मांग रखते आचार्य प्रमोद कृष्णम का पुराना वीडियो 2024 के लोकसभा चुनाव से जोड़कर गलत दावे से शेयर किया जा रहा है.
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