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Manipur Violence के बीच ITLF ने नहीं मांगी कूकी समुदाय से माफी, फेक लेटर वायरल

इंडिजिनियस ट्राइबल लीडर फोरम (ITLF) का बताया जा रहा एक लेटर भी वायरल है

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कई न्यूज वेबासाइट पर दावा किया गया कि इंडिजिनियस ट्राइबल लीडर फोरम (ITLF) ने बुधवार को मणिपुर में ‘गुमराह करने और मैतेई लोगों के खिलाफ भड़काने’ को लेकर कुकी ज़ो समुदाय से माफी मांगी है.

किसने किया ये दावा ? : लोकमत न्यूज, दि प्रिंट, प्रभात खबर , दैनिक जागरण, न्यूज एजेंसी ANI और टाइम्स ऑफ इंडिया (TOI) की रिपोर्ट में ये दावा किया गया.

  • लोकमत न्यूज ने ये दावा किया

    सोर्स : स्क्रीनशॉट/फेसबुक

कई सोशल मीडिया अकाउंट्स से ITLF की तरफ से जारी किए गए माफीनामे का बताकर एक लेटर भी शेयर किया. अर्काइव यहां, यहां और यहां देखें.

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वायरल हो रहे लेटर में क्या लिखा है ? : लेटर में कहा गया है कि 'ITLF बेकसूर कूकी ज़ो समुदाय के लोगों से भ्रमित करने और मणिपुर में मैतेई समुदाय के साथ संघर्ष के लिए माफी मांगता है'.

  • इसमें यह भी कहा गया है कि आईटीएलएफ की कार्रवाइयों के नतीजे के तौर पर मैतेई समुदाय के साथ संघर्ष में 'निर्दोष कुकी-ज़ो लोगों का ब्रेनवॉश' हुआ.

पर ये लेटर फेक है : वायरल हो रहा ये लेटर असली नहीं है.

हमने ITLF के प्रवक्ता गिन्ज़ा वुएलज़ोंग से बात की, जिन्होंने IRLF के माफी मांगने के दावों को सिरे से खारिज किया और कहा कि वायरल लेटर फेक है.

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हमने सच कैसे पता लगाया ?: हमने ITLF की वेबसाइट चेक की, तो ऐसी कोई प्रेस रिलीज या लेटर हमें नहीं मिला.

आखिरी प्रेस रिलीज 8 जुलाई को मणिपुर में हो रही हिंसा पर उनकी टिप्पणियों के लिए दो कुकी ज़ो नेताओं के खिलाफ FIR दर्ज करने की निंदा करते हुए शेयर की गई थी.

हमने यह भी देखा कि वायरल प्रेस रिलीज और ITLD की सभी प्रेस रिलीज में तारीख का फॉर्मेट बिल्कुल अलग था - महीने और साल के बीच कोई स्पेस नहीं था.

इंडिजिनियस ट्राइबल लीडर फोरम (ITLF) का बताया जा रहा एक लेटर भी वायरल है

आखिरी प्रेस रिलीज  8 जुलाई 2023 को जारी की गई थी, जबकि फेक लेयर पर तारीख 13 जुलाई 2023 है. 

सोर्स : ITLF वेबसाइट/स्क्रीनशॉट

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हमने ITLF के प्रवक्ता से संपर्क किया: ITLF के प्रवक्ता गिन्ज़ा वुएलज़ोंग से हमने बात की. क्योंकि वायरल लेटर पर उनके हस्ताक्षर भी हैं.

  • उन्होंने स्पष्ट किया कि आईटीएलएफ की तरफ से कुकी समुदाय से माफी मांगने वाला ऐसा कोई पत्र जारी नहीं किया गया है.

  • वुएलज़ोंग ने कहा, "यह एक फेक लेटर है, हमने कूकी समुदाय से कोई माफी नहीं मांगी है. ये दूसरी बार है जब आईटीएलएफ से जुड़ा एक फर्जी पत्र ऑनलाइन वायरल हो रहा है. हमारे सभी आधिकारिक बयान हमारी वेबसाइट पर देखे जा सकते हैं."

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फेक लेटर पर ITLF का ट्वीट : संगठन ने एक ट्वीट में भी यह स्पष्ट किया है कि उनके नाम पर वायरल हो रहा लेटर फेक है.

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निष्कर्ष: इंडिजिनस ट्राइबल लीडर फोरम (ITLF) के नाम पर शेयर हो रहा लेटर फर्जी है, जिसको लेकर दावा किया जा रहा है कि ITLF ने कुकी समुदाय से माफी मांगी है.

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