इंडिया टीवी के चेयरमैन और एडिटर इन चीफ रजत शर्मा ने 3 जनवरी को भारत की कोरोना वैक्सीन पर उठ रहे सवालों पर तंज कसते हुए एक ट्वीट किया. ट्वीट में रजत शर्मा ने दावा किया है कि भारत में बनी कोविड-19 वैक्सीन की 190 देशों ने एडवांस बुकिंग कराई है.
पड़ताल में सामने आया कि 70 देशों के प्रतिनिधि भारत में बन रही कोरोना वैक्सीन का शोध कार्य देखने जरूर आए थे, लेकिन एडवांस बुकिंग का दावा झूठा है.
रजत शर्मा के इस ट्वीट पर 33 हजार से भी ज्यादा लाइक आ चुके हैं. साफ है कि सोशल मीडिया पर बड़ी संख्या में यूजर इस दावे को सच मानकर शेयर कर रहे हैं. रजत शर्मा के वेरिफाइड अकाउंट से किए गए इस ट्वीट के बाद कई अन्य यूजर ने भी इसी मैसेज को फेसबुक और ट्विटर पर पोस्ट किया.
दावा
रजत शर्मा का ट्वीट - भारत में बनी कोवैक्सीन की जो लोग आलोचना कर रहे हैं, उन्हें मालूम होना चाहिए कि 190 देशों की सरकारों के कंसोर्टियम ने इस वैक्सीन की 2 अरब डोज की बुकिंग करवाई है. लोग गलतफहमियों के शिकार न हों, तथ्यों पर यकीन करें.
हमें पड़ताल में क्या मिला
अलग-अलग कीवर्ड गूगल सर्च करने से भी हमें इंटरनेट पर ऐसी कोई रिपोर्ट नहीं मिली. जिससे ये पुष्टि होती हो कि 190 देशों ने भारत में बन रही वैक्सीन की एडवांस बुकिंग की.
190 देशों के संगठन का जिक्र विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) की वेबसाइट पर हमें मिला. कोवैक्स नाम के इस संगठन का मकसद कोविड-19 वैक्सीन के 2 मिलियन डोज जुटाकर दुनिया भर में इसे बराबरी से पहुंचाना है. अब सवाल ये है कि क्या कोवैक्स ने भारत में बन रही कोरोना वैक्सीन की एडवांस बुकिंग की?
WHO की वेबसाइट पर दी गई जानकारी के मुताबिक, 190 देशों के संगठन कोवैक्स ने दुनियाभर की कुल 10 वैक्सीन में निवेश किया है. वेबसाइट पर इन वैक्सीन की लिस्ट भी है. इस लिस्ट में भारत में बनी स्वदेशी वैक्सीन कोवैक्सीन का नाम नहीं है, जिसे इमरजेंसी अप्रूवल मिला है. मतलब साफ है कि 190 देशों के संगठन ने भारत की कोरोना वैक्सीन बुक नहीं की है.
पड़ताल के दौरान हमें इंडिया टुडे की एक रिपोर्ट मिली. जिससे पता चलता है कि 70 देशों के डेलीगेट्स, कोवैक्सीन बना रही भारत बायोटेक के हैदराबाद स्थित प्लांट का दौरा कर चुके हैं. हालांकि, रिपोर्ट में ये जिक्र कही नहीं है कि इन देशों ने वैक्सीन की एडवांस बुकिंग कराई.
ट्वीट के 2 दिन बाद रजत शर्मा ने एक और ट्वीट कर अपने दावे पर सफाई भी दी है. हालांकि, इस बीच हजारों यूजर दावे को सच मानकर सोशल मीडिया पर शेयर कर चुके हैं. पड़ताल में साफ हो गया कि 190 देशों ने भारत में बन रही कोरोना वैक्सीन की एडवांस बुकिंग नहीं कराई है. सोशल मीडिया पर किया जा रहा दावा झूठा है.
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