सोशल मीडिया पर एक वायरल पोस्ट में ये दावा किया जा रहा है कि न्यूज वेबसाइट ‘द वायर’ ने मानहानि केस में गृह मंत्री अमित शाह के बेटे जय शाह से माफी की पेशकश की है.
हालांकि, पड़ताल में ये दावा झूठा निकला. क्योंकि अब तक इस मामले का कोर्ट में ट्रायल ही शुरू नहीं हुआ है. द वायर के फाउंडिंग एडिटर सिद्धार्थ वर्दराजन ने वेबकूफ से बातचीत में इस दावे को फेक बताया.
दावा
सोशल मीडिया पर शेयर किया जा रहा मैसेज है - अमित शाह जी के बेटे पर झूठा आरोप लगाने पर @thewire_in ने केस हारने के बाद सुप्रीम कोर्ट में माफीनामे की पेशकश की है
बीजेपी नेता हरि ओम पांडे समेत पार्टी से जुड़े कई हैंडल्स से ये दावा शेयर किया गया.
पड़ताल में हमने क्या पाया
'द वायर' ने साल 2017 में एक रिपोर्ट पब्लिश की थी. जिसके मुताबिक, मोदी सरकार आने के बाद जय शाह की कंपनी ने काफी तेजी से तरक्की की. जय शाह ने जवाब में रिपोर्ट छापने वाली वेबसाइट और उसके पत्रकारों पर 12 अक्टूबर, 2018 को 100 करोड़ रुपए की मानहानि का केस दायर किया.
द वायर ने मानहानि केस को लेकर गुजरात हाई कोर्ट में एक याचिका दायर की थी, जिसे खारिज कर दिया गया था. जनवरी 2018 में संस्था ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया. अगस्त, 2019 में द वायर ने सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका वापस लेते हुए गुजरात की अदालत में ट्रायल का सामना करने का फैसला किया. सुप्रीम कोर्ट ने याचिका वापस लेने की अनुमति देते हुए कहा था कि मामले की सुनवाई जल्द से जल्द पूरी होनी चाहिए.
हमने द वायर के फाउंडिंग एडिटर सिद्धार्थ वर्दराजन से संपर्क किया. उन्हेंने सोशल मीडिया पर किए जा रहे दावे को कोरी अफवाह बताते हुए कहा कि अब तक केस की सुनवाई ही शुरू नहीं हुई है.
जय शाह से जुड़ी स्टोरी करने वाली पत्रकार रोहिणी सिंह ने भी एक ट्वीट कर इस दावे को झूठा बताया है.
हमें ऐसी कोई रिपोर्ट नहीं मिली जिससे पुष्टि हो सके कि कोर्ट में इस मामले की सुनवाई शुरू हो गई है. मतलब साफ है- सोशल मीडिया पर किया जा रहा ये दावा झूठा है कि द वायर मानहानि का मुकदमा हार गया है और जय शाह से माफी की पेशकश की है.
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