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बंगाल में रोंहिग्याओं ने नहीं लगाए ‘पाकिस्तान जिंदाबाद’ के नारे

पड़ताल में हमने पाया कि ये वीडियो बंगाल का नहीं, बहराइच का है और पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे नहीं लगाए गए थे.

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एक वायरल वीडियो शेयर कर दावा किया जा रहा है कि हाल ही में हुए विधानसभा चुनाव जीतेने के बाद पश्चिम बंगाल में 'रोहिंग्याओं' ने एक 'धन्यवाद' रैली निकाली और 'पाकिस्तान जिंदाबाद' के नारे लगाए.

हालांकि, क्विंट की वेबकूफ टीम ने पाया कि ये दावा झूठा है और वीडियो बंगाल का नहीं बल्कि यूपी के बहराइच जिले का है. इसके अलावा, रैली में शामिल लोग पाकिस्तान जिंदाबाद के नहीं हाजी साहब जिंदाबाद के नारे लगा रहे थे. ये रैली हाल में हुए यूपी पंचायत चुनाव में हाजी अब्दुल कलीम के जीतने पर निकाली गई थी.

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दावा

वीडियो के साथ शेयर किए जा रहे दावे में लिखा है कि: ''हाल में बंगाल में हुए विधानसभा चुनाव में चुने गए 31 रोहिंग्याओं ने एक 'धन्यवाद' रैली निकाली है. उनका नारा है ''पाकिस्तान जिंदाबाद''. 'सेकुलर इंडिया' हमें कहां ले जा रहा है?''

ये दावा फेसबुक और ट्विटर दोनों जगह किया जा रहा है. इनके आर्काइव आप यहां, यहां और यहां देख सकते हैं. ऐसे ही एक और वीडियो का एक अलग वर्जन 5 मई को News18 Uttarakhand ने प्रसारित किया था.

क्विंट की WhatsApp टिपलाइन में भी इस वीडियो से जुड़े दावे से संबंधित क्वेरी आई है.

पड़ताल में हमने क्या पाया

हमने वीडियो को ध्यान से देखा. वीडियो के 50वें सेकेंड में हमें 'भूमि वस्त्रालय' नाम की एक दुकान दिखी. हमें गूगल मैप्स का इस्तेमाल करके देखा और पाया कि ये दुकान यूपी के बहराइच जिलमें के रुपईडीहा में स्थित है.

हमने वीडियो में दिख रही दुकान की संरचना की तुलना, गूगल मैप्स में अपलोड की गई दुकान की फोटो से की और हमें कई एक जैसे एलीमेंट देखने को मिले.

वीडियो में दिख रही बाइक की नंबर प्लेट को ध्यान से देखने पर हमने पाया कि उसमें 'UP' लिखा हुआ है.

क्या भीड़ ने लगाए 'पाकिस्तान जिंदाबाद' के नारे?

वायरल वीडियो को ध्यान से सुनने पर हमने पाया कि भीड़ 'हाजी साहब जिंदाबाद' के नारे लगा रही थी. वीडियो के 11वें से 18वें सेकेंड में आप ये नारा सुन सकते हैं: "हमारा प्रधान कैसा हो? हाजी साहब जैसा हो.”

हमने ऑडियो को और धीमा करके देखा और पाया कि इस नारे को स्पष्ट रूप से सुना जा सकता है. हाजी अब्दुल कलीम बहराइच के केवलपुर गांव के नवनिर्वाचित प्रधान हैं.

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क्विंट की वेबकूफ टीम ने डीएसपी डॉ जंग बहादुर यादव से संपर्क किया, जिन्होंने पुष्टि करते हुए बताया कि भीड़ 'हाजी साहब जिंदाबाद' के नारे लगा रही थी.

“ये वीडियो (जो अभी वायरल है) और दूसरा वीडियो जिसमें हम एक लड़के को मास्क पहने देख सकते हैं, दोनों को फोरेंसिक के लिए भेजा गया है. दोनों वीडियो एक ही दिन के हैं. अपनी शुरुआती जांच में हमने पाया कि भीड़ ‘हाजी साहब जिंदाबाद’ के नारे लगा रही थी. दूसरे वीडियो में शूटिंग कर रहे लड़के ने भी हमसे इसकी पुष्टि की. हमने इसे फोरेंसिक साइंस लैब में यह देखने के लिए भेजा है कि क्या किसी ने वीडियो के साउंड के साथ छेड़खानी करके, नारों को ‘पाकिस्तान जिंदाबाद’ जैसा सुनाई देने वाला बना दिया है.’’
डॉ जंग बहादुर यादव, डीएसपी
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हमें Amar Ujala की एक न्यूज रिपोर्ट भी मिली, जिसके मुताबिक उत्तर प्रदेश में तीन चरणों के पंचायत चुनाव होने के बाद, हाजी अब्दुल कलीम के समर्थकों ने एक जुलूस निकाला. बाद में, पुलिस ने 100 अज्ञात लोगों के खिलाफ कोविड प्रोटोकॉल का उल्लंघन करने का मामला दर्ज किया था.

इसके अलावा, बहराइच पुलिस ने वायरल दावे को खारिज किया है और एक बयान जारी कर कहा कि हाजी अब्दुल कलीम के समर्थकों ने 'हाजी अब्दुल साहब जिंदाबाद' के नारे लगाए थे, न कि 'पाकिस्तान जिंदाबाद' के नारे.

मतलब साफ है कि यूपी का वीडियो बंगाल का बताकर इस गलत दावे से शेयर किया जा रहा है कि रोहिंग्याओं ने बंगाल में चुनाव जीतने का जश्न मनाया और पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे लगाए.

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