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अमेरिका से 750 मिलियन डॉलर का हथियार खरीदेगा ताइवान,चीन की बढ़ी टेंशन

चीन और ताइवान के बीच 1949 से विवाद चला आ रहा है. चीन ताइवान को अपना हिस्सा मानता है.

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चीन (China) के साथ जारी तनाव के बीच ताइवान (Taiwan) अमेरिका से करीब 750 मिलियन डॉलर यानी 5500 करोड़ रुपए का हथियार खरीदने जा रहा है. अमेरिकी रक्षा सहयोग एजेंसी ने एक बयान में बताया है कि ताइवान को 40 शक्तिशाली 155 एमएम सेल्फ प्रोपेल्ड होवित्जर सिस्टम और इससे जुड़े उपकरण मुहैया करवाए जा रहे हैं. इस डील को बाइडन प्रशासन ने अपनी मंजूरी दे दी है.

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चीनी आक्रमण को कमजोर करने के लिए पिछले साल भी ड्रोन और तटीय मिसाइल रक्षा की डील दोनों देशों के बीच हुई थी.

पेंटागन के मुताबिक इस नए डील में होवित्जर, युद्धपोतों के लिए 1698 सटीक गाइडिंग किट, पुर्जे, ट्रेनिंग, ग्राउंड स्टेशन और ताइवान की पिछली पीढ़ी के होवित्जर अपग्रेड किए जाएंग

ताइवान रक्षा मंत्रालय ने अमेरिकी सरकार का आभार जताते हुए कहा है कि इससे उसे जमीनी ताकत बढ़ाने में मदद मिलेगी. मंत्रालय ने अमेरिकी से लगातार मिल रहे हथियारों के समर्थन को ‘क्षेत्रीय स्थिरता बनाए रखने का आधार’ बताया है.

बता दें कि चीन और ताइवान के बीच 1949 से विवाद चला आ रहा है. चीन ताइवान को अपना हिस्सा मानता है, वहीं ताइवान खुद को एक स्वतंत्र देश समझता है. शुरुआत से चीन यही कहता रहा है क‍ि ताइवान को चीन में शामिल होना चाहिए.

चीन ने जताई नाराजगी

चीन के विदेश मंत्रालय की वेबसाइट पर पोस्ट किए गए एक प्रवक्ता की टिप्पणियों के मुतबाकि, चीन के विदेश मंत्रालय ने कहा कि यह बिक्री का "विरोध" करते हैं. चीनी प्रवक्ता के मुताबिक हथियार की बिक्री ने चीन के घरेलू मामलों में हस्तक्षेप किया है. प्रवक्ता ने चेतावनी देते हुए कहा कि चीन इस मुद्दे के विकसित होने पर जवाबी कार्रवाई करेगा.

चीन के ताइवान मामलों के कार्यालय ने अमेरिका से ताइवान को सभी हथियारों की बिक्री को रोकने का आह्वान किया ताकि ताइवान की स्वतंत्रता समर्थक ताकतों को गलत संकेत न भेजा जा सके.

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