अमेरिकी रिसर्च फर्म हिंडनबर्ग (Hindenburg Research) ने अडानी ग्रुप (Adani Group) के बाद अब ट्विटर (Twitter) के को-फाउंडर जैक डॉर्सी (Twitter Co-founder Jack Dorsey) की कंपनी 'ब्लॉक इंक' (Block Inc) को लेकर बड़ा दावा किया है. हिंडनबर्ग ने अपनी एक नई रिपोर्ट में 'ब्लॉक इंक' पर फ्रॉड, निवेशकों को गुमराह करने, सरकार को धोखा देने और हेरफेर करने का आरोप लगाया है.
चलिए आपको बताते हैं कि हिंडनबर्ग ने अपनी इस रिपोर्ट में 'ब्लॉक इंक' पर और क्या-क्या आरोप लगाए हैं? इस रिपोर्ट पर कंपनी का क्या कहना है? भारतीय मूल की अमृता अहूजा (Amrita Ahuja) का नाम क्यों आ रहा है? इस रिपोर्ट के आने से 'ब्लॉक इंक' को कितना नुकसान हुआ है?
Hindenburg Report: Twitter के को-फाउंडर जैक डॉर्सी पर क्या आरोप? कितना नुकसान?
1. हिंडनबर्ग ने 'ब्लॉक इंक' पर क्या आरोप लगाए हैं?
हिंडनबर्ग (Hindenburg) ने अपनी रिपोर्ट में आरोप लगाया है कि जैक डॉर्सी की कंपनी 'ब्लॉक' ने अपने यूजर्स की संख्या को बढ़ा-चढ़ाकर दिखाया है. साथ ही कंपनी ने नए ग्राहकों को जोड़ने की लागत को भी काफी कम करके बताया है.
हिंडनबर्ग ने अपनी बेवसाइट पर प्रकाशित एक नोट में कहा है,
"हमने करीब 2 सालों की पड़ताल के बाद यह पाया है कि ब्लॉक इंक ने सिस्टमैटिक रूप से उस डेमोग्राफिक्स का लाभ उठाया है, जिसकी मदद करने का वह दावा करती है."
हिंडनबर्ग की रिपोर्ट में कहा गया है कि पूर्व कर्मचारियों के अनुमान के मुताबिक 40-75 फीसदी अकाउंट्स फेक थे, धोखाधड़ी में शामिल थे या एक ही व्यक्ति के अतिरिक्त अकाउंट थे.
इसके साथ ही हिंडनबर्ग ने आरोप लगाया कि 'ब्लॉक' ने अपने उपयोगकर्ताओं के भ्रामक आंकड़े पेश किए हैं, जो कि सेक्स ट्रैफिकिंग जैसी आपराधिक गतिविधियों से जुड़े थे. हिंडनबर्ग की बेवसाइट पर प्रकाशित नोट में कहा गया है,
"एक प्रमुख गैर-लाभकारी संस्था के मुताबिक, अमेरिका में सेक्स ट्रैफिकिंग के लिए 'अब तक' कैश ऐप का सबसे ज्यादा इस्तेमाल हुआ है. डिपार्टमेंट ऑफ जस्टिस को मिली कई शिकायतें इस ओर इशारा करती हैं कि कैसे कैश ऐप का उपयोग नाबालिगों की यौन तस्करी सहित यौन तस्करी को सुविधाजनक बनाने के लिए किया गया है."
इसके साथ ही दावा किया गया है कि कैश ऐप पर टेस्ला के फाउंडर एलन मस्क के नाम से दर्जनों फेक अकाउंट बनाए गए थे. इसी तरह अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप समेत लाखों फेक अकाउंट बनाए गए थे.
Expand2. जैक डॉर्सी पर 1 बिलियन डॉलर के स्टॉक बेचने का आरोप
हिंडनबर्ग की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि कोरोना महामारी के दौरान फ्रॉड के कारण ब्लॉक के शेयरों की कीमतों में भारी बढ़ोतरी देखी गई. इसके बाद सह-संस्थापक जैक डॉर्सी और जेम्स मैककेल्वे ने सामूहिक रूप से 1 बिलियन डॉलर यानी करीब 8 हजार करोड़ के स्टॉक बेच दिए. इसके साथ ही CFO अमृता अहूजा और कैश ऐप के प्रमुख प्रबंधक ब्रायन ग्रासडोनिया सहित अन्य अधिकारियों ने भी लाखों डॉलर के स्टॉक बेचे. हिंडनबर्ग ने कहा,
"हमारे रिसर्च से पता चलता है कि व्यापारियों की सुरक्षा के लिए निर्धारित बैंकिंग रेगुलेशन को नजरअंदाज कर ब्लॉक ने अपने लाभ को बढ़ाने का काम किया है. "इंटरचेंज शुल्क" विभिन्न भुगतान कार्डों के उपयोग को स्वीकार करने के लिए व्यापारियों से लिया जाने वाला शुल्क है."
अमेरिकी कांग्रेस ने एक कानून पारित किया है जो 10 बिलियन से अधिक संपत्ति वाले बड़े बैंकों द्वारा लगाए जाने वाले 'इंटरचेंज फीस' को कैप करता है. लेकिन हिंडनबर्ग का आरोप है कि 31 बिलियन डॉलर की संपत्ति होने के बावजूद ब्लॉक एक छोटे बैंक के माध्यम से भुगतानों को रूट करके इन नियमों से बचता है.
Expand3. हिंडनबर्ग की रिपोर्ट के बाद ब्लॉक को कितना नुकसान हुआ?
हिंडनबर्ग की रिपोर्ट के बाद जैक डॉर्सी को तगड़ा झटका लगा है. ब्लूमबर्ग बिलियनेयर्स इंडेक्स के अनुसार, गुरुवार को डॉर्सी की संपत्ति में 526 मिलियन डॉलर की गिरावट आई, जो मई के बाद से एक दिन में सबसे ज्यादा गिरावट है. 11 फीसदी की गिरावट के बाद अब उनकी संपत्ति 4.4 बिलियन डॉलर है.
हिंडनबर्ग ने अपनी रिपोर्ट में दावा किया है कि ब्लॉक ने आंकड़ों में हेराफेरी की है और फंडामेंटल आधार पर इसके शेयर की कीमत मौजूदा लेवल से 65-75 फईसदी नीचे होनी चाहिए.
इसके बाद ब्लॉक के शेयर में भारी गिरावट देखने को मिली. रिपोर्ट आने के बाद गुरुवार को ब्लॉक के शेयर 22 फीसती तक टूटे, लेकिन दिन के आखिर में यह 15 फीसदी की गिरावट के साथ बंद हुआ.
Expand4. ब्लॉक इंक ने क्या कहा?
अमेरिकी भुगतान फर्म ब्लॉक इंक ने हिंडनबर्ग रिसर्च द्वारा लगाए गए सभी आरोपों को खारिज कर दिया है. बिजनेस टुडे की रिपोर्ट के मुताबिक, कंपनी ने कहा है कि वह शॉर्टसेलर फर्म के खिलाफ कानूनी कार्रवाई के संभावनाओं की तलाश कर रही है.
इसके साथ ही कंपनी ने कहा कि कैश ऐप को लेकर शॉर्ट सेलर की रिपोर्ट "तथ्यात्मक रूप से गलत और भ्रामक" है. पूरी रिपोर्ट की समीक्षा करने के बाद, ब्लॉक ने कहा कि यह "निवेशकों को धोखा देने और भ्रमित करने के लिए डिजाइन की गई है.
Expand5. क्यों आ रहा अमृता अहूजा का नाम?
हिंडनबर्ग की रिपोर्ट में भारतीय मूल की अमृता अहूजा का भी नाम है. वो ब्लॉक इंक की चीफ फाइनेंशियल ऑफिसर यानी CFO हैं. अमृता पर ब्लॉक इंक के शेयरों को बेचने का आरोप लगा है.
अमृता कंपनी के साथ साल 2019 में जुड़ीं. साल 2021 में उन्हें ब्लॉक इंक का CFO बनाया गया. द वॉल स्ट्रीट जर्नल की एक रिपोर्ट के मुताबिक उनके माता-पिता भारतीय प्रवासी हैं. वो क्लीवलैंड में एक डे-केयर सेंटर चलाते हैं.
अमृता एयरबीएनबी, McKinsey & Company, द वॉल डिजनी, फॉक्स जैसी बड़ी कंपनियों के साथ काम कर चुकी हैं.
Expand6. ब्लॉक कंपनी की शुरुआत कैसे हुई?
जैक डॉर्सी और जेम्स मैककेल्वे ने 'स्क्वायर' नाम से 2009 में कंपनी की शुरुआत की थी. फर्म क्रेडिट कार्ड रीडर प्रोवाइड करती थी. इसे मोबाइल फोन में जोड़ा जा सकता था.
2014 में कंपनी ने शॉर्ट टर्म लोन सर्विस की शुरुआत की.
2015 में स्टॉक एक्सचेंज में सूचीबद्ध होने पर कंपनी को लगभग 3 बिलियन डॉलर का मूल्यांकन मिला.
इसके बाद 2017 में 'स्क्वायर' ने कैश कार्ड पेश किया. यह एक प्रीपेड डेबिट कार्ड था.
2018 में, कैश ऐप ने यूजर्स को प्लेटफॉर्म पर बिटकॉइन में ट्रेड करने की सर्विस दी.
अगले साल, कंपनी ने फ्री स्टॉक ट्रेडिंग की सुविधा जोड़ी.
1 दिसंबर, 2021 को कंपनी का नाम 'स्क्वायर' से बदलकर 'ब्लॉक इंक' कर दिया गया.
23 मार्च, 2023 तक ब्लॉक इंक का नेट वर्थ 46.63 बिलियन डॉलर है.
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हिंडनबर्ग ने 'ब्लॉक इंक' पर क्या आरोप लगाए हैं?
हिंडनबर्ग (Hindenburg) ने अपनी रिपोर्ट में आरोप लगाया है कि जैक डॉर्सी की कंपनी 'ब्लॉक' ने अपने यूजर्स की संख्या को बढ़ा-चढ़ाकर दिखाया है. साथ ही कंपनी ने नए ग्राहकों को जोड़ने की लागत को भी काफी कम करके बताया है.
हिंडनबर्ग ने अपनी बेवसाइट पर प्रकाशित एक नोट में कहा है,
"हमने करीब 2 सालों की पड़ताल के बाद यह पाया है कि ब्लॉक इंक ने सिस्टमैटिक रूप से उस डेमोग्राफिक्स का लाभ उठाया है, जिसकी मदद करने का वह दावा करती है."
हिंडनबर्ग की रिपोर्ट में कहा गया है कि पूर्व कर्मचारियों के अनुमान के मुताबिक 40-75 फीसदी अकाउंट्स फेक थे, धोखाधड़ी में शामिल थे या एक ही व्यक्ति के अतिरिक्त अकाउंट थे.
इसके साथ ही हिंडनबर्ग ने आरोप लगाया कि 'ब्लॉक' ने अपने उपयोगकर्ताओं के भ्रामक आंकड़े पेश किए हैं, जो कि सेक्स ट्रैफिकिंग जैसी आपराधिक गतिविधियों से जुड़े थे. हिंडनबर्ग की बेवसाइट पर प्रकाशित नोट में कहा गया है,
"एक प्रमुख गैर-लाभकारी संस्था के मुताबिक, अमेरिका में सेक्स ट्रैफिकिंग के लिए 'अब तक' कैश ऐप का सबसे ज्यादा इस्तेमाल हुआ है. डिपार्टमेंट ऑफ जस्टिस को मिली कई शिकायतें इस ओर इशारा करती हैं कि कैसे कैश ऐप का उपयोग नाबालिगों की यौन तस्करी सहित यौन तस्करी को सुविधाजनक बनाने के लिए किया गया है."
इसके साथ ही दावा किया गया है कि कैश ऐप पर टेस्ला के फाउंडर एलन मस्क के नाम से दर्जनों फेक अकाउंट बनाए गए थे. इसी तरह अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप समेत लाखों फेक अकाउंट बनाए गए थे.
जैक डॉर्सी पर 1 बिलियन डॉलर के स्टॉक बेचने का आरोप
हिंडनबर्ग की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि कोरोना महामारी के दौरान फ्रॉड के कारण ब्लॉक के शेयरों की कीमतों में भारी बढ़ोतरी देखी गई. इसके बाद सह-संस्थापक जैक डॉर्सी और जेम्स मैककेल्वे ने सामूहिक रूप से 1 बिलियन डॉलर यानी करीब 8 हजार करोड़ के स्टॉक बेच दिए. इसके साथ ही CFO अमृता अहूजा और कैश ऐप के प्रमुख प्रबंधक ब्रायन ग्रासडोनिया सहित अन्य अधिकारियों ने भी लाखों डॉलर के स्टॉक बेचे. हिंडनबर्ग ने कहा,
"हमारे रिसर्च से पता चलता है कि व्यापारियों की सुरक्षा के लिए निर्धारित बैंकिंग रेगुलेशन को नजरअंदाज कर ब्लॉक ने अपने लाभ को बढ़ाने का काम किया है. "इंटरचेंज शुल्क" विभिन्न भुगतान कार्डों के उपयोग को स्वीकार करने के लिए व्यापारियों से लिया जाने वाला शुल्क है."
अमेरिकी कांग्रेस ने एक कानून पारित किया है जो 10 बिलियन से अधिक संपत्ति वाले बड़े बैंकों द्वारा लगाए जाने वाले 'इंटरचेंज फीस' को कैप करता है. लेकिन हिंडनबर्ग का आरोप है कि 31 बिलियन डॉलर की संपत्ति होने के बावजूद ब्लॉक एक छोटे बैंक के माध्यम से भुगतानों को रूट करके इन नियमों से बचता है.
हिंडनबर्ग की रिपोर्ट के बाद ब्लॉक को कितना नुकसान हुआ?
हिंडनबर्ग की रिपोर्ट के बाद जैक डॉर्सी को तगड़ा झटका लगा है. ब्लूमबर्ग बिलियनेयर्स इंडेक्स के अनुसार, गुरुवार को डॉर्सी की संपत्ति में 526 मिलियन डॉलर की गिरावट आई, जो मई के बाद से एक दिन में सबसे ज्यादा गिरावट है. 11 फीसदी की गिरावट के बाद अब उनकी संपत्ति 4.4 बिलियन डॉलर है.
हिंडनबर्ग ने अपनी रिपोर्ट में दावा किया है कि ब्लॉक ने आंकड़ों में हेराफेरी की है और फंडामेंटल आधार पर इसके शेयर की कीमत मौजूदा लेवल से 65-75 फईसदी नीचे होनी चाहिए.
इसके बाद ब्लॉक के शेयर में भारी गिरावट देखने को मिली. रिपोर्ट आने के बाद गुरुवार को ब्लॉक के शेयर 22 फीसती तक टूटे, लेकिन दिन के आखिर में यह 15 फीसदी की गिरावट के साथ बंद हुआ.
ब्लॉक इंक ने क्या कहा?
अमेरिकी भुगतान फर्म ब्लॉक इंक ने हिंडनबर्ग रिसर्च द्वारा लगाए गए सभी आरोपों को खारिज कर दिया है. बिजनेस टुडे की रिपोर्ट के मुताबिक, कंपनी ने कहा है कि वह शॉर्टसेलर फर्म के खिलाफ कानूनी कार्रवाई के संभावनाओं की तलाश कर रही है.
इसके साथ ही कंपनी ने कहा कि कैश ऐप को लेकर शॉर्ट सेलर की रिपोर्ट "तथ्यात्मक रूप से गलत और भ्रामक" है. पूरी रिपोर्ट की समीक्षा करने के बाद, ब्लॉक ने कहा कि यह "निवेशकों को धोखा देने और भ्रमित करने के लिए डिजाइन की गई है.
क्यों आ रहा अमृता अहूजा का नाम?
हिंडनबर्ग की रिपोर्ट में भारतीय मूल की अमृता अहूजा का भी नाम है. वो ब्लॉक इंक की चीफ फाइनेंशियल ऑफिसर यानी CFO हैं. अमृता पर ब्लॉक इंक के शेयरों को बेचने का आरोप लगा है.
अमृता कंपनी के साथ साल 2019 में जुड़ीं. साल 2021 में उन्हें ब्लॉक इंक का CFO बनाया गया. द वॉल स्ट्रीट जर्नल की एक रिपोर्ट के मुताबिक उनके माता-पिता भारतीय प्रवासी हैं. वो क्लीवलैंड में एक डे-केयर सेंटर चलाते हैं.
अमृता एयरबीएनबी, McKinsey & Company, द वॉल डिजनी, फॉक्स जैसी बड़ी कंपनियों के साथ काम कर चुकी हैं.
ब्लॉक कंपनी की शुरुआत कैसे हुई?
जैक डॉर्सी और जेम्स मैककेल्वे ने 'स्क्वायर' नाम से 2009 में कंपनी की शुरुआत की थी. फर्म क्रेडिट कार्ड रीडर प्रोवाइड करती थी. इसे मोबाइल फोन में जोड़ा जा सकता था.
2014 में कंपनी ने शॉर्ट टर्म लोन सर्विस की शुरुआत की.
2015 में स्टॉक एक्सचेंज में सूचीबद्ध होने पर कंपनी को लगभग 3 बिलियन डॉलर का मूल्यांकन मिला.
इसके बाद 2017 में 'स्क्वायर' ने कैश कार्ड पेश किया. यह एक प्रीपेड डेबिट कार्ड था.
2018 में, कैश ऐप ने यूजर्स को प्लेटफॉर्म पर बिटकॉइन में ट्रेड करने की सर्विस दी.
अगले साल, कंपनी ने फ्री स्टॉक ट्रेडिंग की सुविधा जोड़ी.
1 दिसंबर, 2021 को कंपनी का नाम 'स्क्वायर' से बदलकर 'ब्लॉक इंक' कर दिया गया.
23 मार्च, 2023 तक ब्लॉक इंक का नेट वर्थ 46.63 बिलियन डॉलर है.
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