ADVERTISEMENTREMOVE AD

'10 सेकंड से कम समय छुआ तो यौन उत्पीड़न नहीं'- इटली के जज के फैसले पर जमकर विरोध

Italy के सोशल मीडिया पर इस समय #10secondi ट्रेंड में क्यों है?

Published
story-hero-img
i
छोटा
मध्यम
बड़ा
Hindi Female

इटली (Italy) के सोशल मीडिया (Social Media) पर इस समय #10secondi ट्रेंड में है. इस हैशटैग के साथ लोग वीडियो बना रहे हैं जिसमें वे 10 सैकंड तक अपने प्राइवेट पार्ट पर हाथ रख कर कुछ संदेश देने की कोशिश कर रहे हैं. साथ ही सवाल कर रहे हैं कि "यदि किसी के साथ 10 सेकंड से कम समय तक यौन उत्पीड़न होता है तो क्या उसे यौन उत्पीड़न (Sexual Assault) नहीं माना जाएगा?" असल में इटली की एक अदालत ने एक शख्स को यौन उत्पीड़न मामले में यह कहते हुए राहत दे दी कि उसने 10 सेकंड से काम समय तक लड़की के प्राइवेट पार्ट को टच किया.

पूरा मामला क्या है? कोर्ट में क्या कहा गया? सर्वाइवर का क्या कहना है? सोशल मीडिया पर किस तरह का कैंपन चल रहा है? सब समझते हैं.

ADVERTISEMENTREMOVE AD

मामला क्या है?

इटली की राजधानी रोम के रोम हाई स्कूल की 17 साल की एक लड़की ने स्कूल के 66 वर्षीय केयरटेकर एंटोनियो अवोला के खिलाफ यौन उत्पीड़न की शिकायत की थी जिसके बाद उसे 3.5 साल की जेल की सजा सुनाई गई.

मामला अप्रैल 2022 का है. सर्वाइवर ने बताया कि, जब वह सीढ़ियों से ऊपर की ओर जा रही थी तो उसे लगा कि उसकी पैंट नीचे खीसक रही है. तभी अचानक पीछे से एक हाथ उसके बट (नितंभ) पर रखा गया और उसकी अंडरवीयर को खींचा गया.

सर्वाइवर के अनुसार, इतना होने के बाद केयरटेकर ने कहा कि, "लव, तुम्हें तो पता ही है मैं मजाक कर रहा था."

इसके बाद सर्वाइवर ने केयरटेकर की शिकायत पुलिस में दी. केयरटेकर ने माना कि उसने जो हरकत की है उसमें लड़की की सहमति नहीं थी. लेकिन उसने जो किया वो केवल मजाक था.

हालांकि, केयरटेकर को इसके लिए साढ़ें तीन साल की जेल की सजा सुनाई गई लेकिन इस हफ्ते केयरटेकर को यौन उत्पीड़न के आरोप से बरी कर दिया गया.
0

कोर्ट में क्या हुआ? क्या दलील दी गई?

फैसला सुनाने वाले जजों ने कहा कि जो हुआ उसे अपराध नहीं माना जा सकता क्योंकि वह 10 सेकंड से भी कम समय के लिए हुआ.

जज का मानना है कि, केयरटेकर ने जो किया वह काफी तेजी से हो गया है. उसने नाबालिग लड़की के साथ जो किया वो कुछ ही क्षण के लिए था. इसमें कोई वासना नहीं थी.

ADVERTISEMENTREMOVE AD

सर्वाइवर ने क्या कहा?

सर्वाइवर ने एक अखबार को दिए इंटरव्यू में कहा कि, "जज ने कहा कि वह मजाक कर रहा था? मेरे लिए वह मजाक नहीं था."

सर्वाइवर ने कहा कि, "उसने मेरे बट को पकड़ा. फिर उसने मुझे उठाया जिससे मेरे प्राइवेट पार्ट पर चोट पहुंची. मेरे लिए ये कोई मजाक वाली बात नहीं है. ये कोई तरीका नहीं है कि कोई बूढ़ा व्यक्ति किसी 17 साल की लड़की के साथ 'मजाक' करे."

सर्वाइवर ने कहा कि मुझ मेरे स्कूल और जस्टिस के सिस्टम दोनों तरफ से धोखा मिला है. उसने कहा कि, "मैं अब सोचने लगी हूं कि मैंने जो इस सिस्टम पर भरोसा किया वो गलत था. ये न्याय नहीं है."

बता दें कि, यूरोपीय संघ की मौलिक अधिकार एजेंसी (एफआरए) के हालिया आंकड़ों से पता चलता है कि 2016 और 2021 के बीच उत्पीड़न का सामना करने वाली 70% इटली की महिलाओं ने घटना की रिपोर्ट दर्ज नहीं कराई है.

ADVERTISEMENTREMOVE AD

इटली में सोशल मीडिया पर कैसा कैंपेन चल रहा है?

सोशल मीडिया पर हैशटैग के साथ 10secodi लिखा जा रहा है और केयरटेकर पर लगे यौन उत्पीड़न के आरोपों को हटाए जाने का विरोध हो रहा है. लोग इंस्टा और टिक टॉक पर वीडियो बना रहे हैं जिसमें लड़के और लड़कियां अपने प्राइवेट पार्ट पर 10 सैंकड तक हाथ रख कर बता रहे हैं कि ये ठीक नहीं है.

फ्रांसेस्को नाम के इंफ्लूएंसर ने टिक टॉक पर लिखा कि, "किसने तय किया कि 10 सेकंड छोटा समय होता है? जब किसी के साथ छेड़छाड़ होती है तो सैकंड कौन गिनता है?"

उन्होंने लिखा कि, "मर्दों को महिला के शरीर को छूने का कोई हक नहीं है, एक सेकंड के लिए भी नहीं फिर 5 और 10 सेकंड तो दूर की बात है."

(हैलो दोस्तों! हमारे Telegram चैनल से जुड़े रहिए यहां)

सत्ता से सच बोलने के लिए आप जैसे सहयोगियों की जरूरत होती है
मेंबर बनें
अधिक पढ़ें
×
×