अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल के दाम मंगलवार को पांच फीसदी से ज्यादा नीचे आ गए. विश्लेषकों का कहना है कि उन्हें सऊदी अरब में तेल उत्पादन में जल्द सुधार आने की उम्मीद है. इससे पहले माना जा रहा था कि सऊदी अरब की ऑयल रिफाइनरी को पहले जैसे उत्पादन की स्थिति में पहुंचने में काफी समय लग सकता है.
लंदन में नार्थ सी ब्रेंट क्रुड ऑयल का नवंबर में डिलीवरी के लिए ट्रेडिंग प्राइस 65.35 डॉलर प्रति बैरल पर आ गया. ये एक दिन पहले सोमवार के मुकाबले 5.35 डॉलर नीचे है.
सऊदी अरब के सबसे बड़े ऑयल प्लांट पर हाल ही में ड्रोन अटैक के बाद कच्चे तेल की कीमत में अचानक तेजी आ गई थी. इस हमले के बाद सऊदी अरब का करीब आधा ऑयल प्रोडक्शन ठप हो गया.
क्रुड ऑयल में 30 साल में सबसे बड़ी बढोतरी
ऑयल प्लांट पर हमले की खबर के बाद सोमवार को अंतरराष्ट्रीय बाजार में ब्रेंट क्रुड ऑयल का दाम करीब 20 फीसदी उछलकर 71.95 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गया था. ये पिछले 30 साल में एक दिन की सबसे बड़ी बढोतरी है.
ड्रोन हमले के बाद खाड़ी क्षेत्र में एक बार फिर से तनाव पैदा हो गया है. इसके साथ ही दुनियाभर में तेल प्रतिष्ठानों की सुरक्षा को लेकर भी चिंता बढ़ गई है.
भारत के निवेशकों को 2.72 लाख करोड़ का नुकसान
कच्चे तेल के दाम में तेजी की वजह से भारतीय शेयर बाजार में बड़े स्तर पर बिकवाली देखी जा रही है. पिछले दो दिनों में लगातार गिरावट से भारतीय निवेशकों को 2.72 लाख करोड़ रुपये की चपत लगी है.
सेंसेक्स मंगलवार को 642.22 प्वाइंट यानी 1.73 फीसदी की गिरावट के साथ 36,481.09 प्वाइंट पर बंद हुआ. कारोबार के दौरान इसमें एक समय 704.22 प्वाइंट की गिरावट आ गयी थी. इससे पहले सोमवार को सेंसेक्स 262 प्वाइंट टूटा था.
भारी बिकवाली के कारण बीएसई में कंपनियों की बाजार में पूंजी 2,72,593.54 करोड़ रुपये घटकर 1,39,70,356.22 करोड़ रुपये पर आ गई.
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