रूस हिंसक हमले से दहल उठा है. रूस की राजधानी मास्को (Russia Capital Moscow) में बीती रात यानी 22 मार्च को कुछ हमलावरों ने शहर के क्रॉकस सिटी कॉन्सर्ट हॉल (Crocus City Concert Hall) में घुसकर गोलीबारी करनी शुरु कर दी. तब मॉल में तकरीबन 6 हजार लोग मौजूद थे. अफरा-तफरी के माहौल में मॉल के एक हिस्से में आग लग गई और इमारत के छत का एक हिस्सा भी टूट गया.
समाचार एजेंसी एसोसिएट प्रेस ने रूसी इंस्वेस्टिगेटिव काउंसिल (Russian Investigative Council) के हवाले से बताया है कि इस घटना में अब तक कम से कम 133 लोगों की जान गई हैं.
क्रेमलिन ने जानकारी दी है कि रूसी फेडरल सर्विस के चीफ एलेक्जेंडर बोर्टिनीकोव ने रूसी राष्ट्रपति को बताया है कि इस आतंकवादी हमले से जुडे़ 11 लोगों को हिरासत में लिया है. इसमें से 4 लोग सीधे तौर से हमले से जुड़े थे. राष्ट्रपति पुतिन ने भी कहा है कि सभी हमलावर अब हिरासत में हैं.
Russia Attack: जिस आतंकी संगठन ने 133 लोगों की हत्या की, उसकी रूस से क्या दुश्मनी?
1. किसने ली हमले की जिम्मेदारी ?
क्रॉकस सिटी हॉल में हमले की जिम्मेदारी इस्लामिक स्टेट के एक गुट, IS खुरासान प्रांत (IS-KP) ने ली है. इस गुट ने कहा कि जिन बंदूकधारियों ने मॉल में गोलीबारी की थी वह वहां से बच निकले थे. इस बीच अमेरिका ने कहा कि उसने रूस को ऐसे किसी हमले को लेकर पहले ही आगाह कर दिया था. अमेरिका ने कहा कि इस्लामिक स्टेट के दावों पर यकीन न करने की कोई वजह नहीं है. हालांकि रूस के शीर्ष अधिकारियों ने इस्लामिक स्टेट की ओर से हमले की जिम्मेदारी लेने पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है.
रूस के कई अधिकारियों ने आरोप लगाए हैं कि इस हमले यूक्रेन का भी हाथ है लेकिन यूक्रेन ने इस हमले में हाथ होने से इनकार कर दिया है.
इस्लामिक स्टेट खुरासान प्रांत अफगानिस्तान, पाकिस्तान और तुर्कमेनिस्तान के इलाके में सक्रिय है. इस समूह ने पाकिस्तान में भी कई फिदायीन हमले किए हैं. समूह के नाम अफगानिस्तान, पाकिस्तान और तुर्कमेनिस्तान से मिलकर बने एक इलाके के नाम पर रखा गया है. साल 2017 में भी रूस के सेंट पीटर्सबर्ग पर इस्लामिक स्टेट ने हमला किया था. इस हमले में 15 लोग मारे गए थे.
Expand2. रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने क्या कहा?
व्लादिमीर पुतिन ने हमले के बाद कहा है कि हमलावरों ने यूक्रेन की ओर भागने की कोशिश की और जवाब में सुरक्षा कड़ी कर दी गई है. राष्ट्रपति ने कॉन्सर्ट हॉल पर हुए हमले को "बर्बर आतंकवादी कृत्य" बताया और कहा कि "हमारे दुश्मन हमें बांट नहीं सकते."
उन्होंने 24 मार्च को एक दिन के शोक की घोषणा की है.
राष्ट्रपति पुतिन ने साफ शब्दों में कहा है कि हमले के जिम्मेदार सभी लोगों को दंडित किया जाएगा.
रूसी राष्ट्रपति ने अपना भाषण जारी रखते हुए कहा कि सभी हमलावरों का पता लगा लिया गया है और अब उन्हें हिरासत में ले लिया गया है.
Expand3. हमले की वजह क्या?
रूसी समाचार एजेंसी आरआईए नोवोस्ती ने एक वीडियो के हवाले से बताया है कि रूसी मॉल में हमले के आरोप में एक शख्स को हिरासत में लिया गया और उससे पूछताछ की गई. पूछताछ में शख्स ने बताया कि वह तुर्की से आया था. इसके अलावा हमले के आरोपी शख्स ने कहा कि उसे उसके आकाओं ने एक महीने पहले टेलीग्राम के जरिए संपर्क किया था और हथियार उपलब्ध कराए थे.
आरोपी शख्स ने ये भी बताया कि उसे लोगों को मारने के लिए दस लाख रूबल दिया गया था.
लेकिन इस हमले के पीछे क्या वजह हो सकती है?
अमेरिकी अखबार न्यूयॉर्क टाइम्स ने न्यूयॉर्क स्थित एक सुरक्षा परामर्श फर्म सौफान ग्रुप में एक आतंकवाद विरोधी विश्लेषक कॉलिन पी के मार्फत इस सवाल का जवाब दिया है.
कॉलिन ने कहा, "इस्लामिक स्टेट खुरासान की नजर पिछले दो साल से रूस पर थी. इस्लामिक स्टेट मानता है कि अफगानिस्तान, सीरिया, चेचनाया में रूसी दखल की वजह से रूस के हाथ खून से सने हैं."
रूस ने साल 2015 में बसर-अल-असद के कहने पर सीरिया में मिलिट्री ऑपरेशन की शुरुआत की थी. तब रूस ने असद सरकार को इस्लामिक स्टेट से बचाने के लिए स्पेशल मिलिट्री फोर्सेज, वाग्नर ग्रुप और सैन्य सलाहकारों को सीरिया भेजा था.
Expand4. किन देशों ने दी प्रतिक्रिया?
प्रधानमंत्री मोदी ने मॉस्को हॉल में गोलीबारी और लोगों के हताहतों को लेकर संवेदना जाहिर की है. उन्होंने एक्स पर एक पोस्ट में लिखा, "मॉस्को में हुए जघन्य आंतकवादी हमले की हम कड़ी निंदा करते हैं. हमारी प्रार्थनाएं पीड़ितों के परिजनों के साथ हैं. दुख की इस घड़ी में भारत रूस की सरकार और वहां के लोगों के साथ खड़ा है."
चीन ने भी हमले पर चिंता जाहिर की है. चीन की सरकार समाचार एजेंसी शिन्हुआ ने खबर दी है कि चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग रूस में हुए हादसे को लेकर दुख जाहिर किया है.
शी जिनपिंग ने कहा, चीन रूस में हुए आंतकी हमले की कड़े शब्दों में निंदा करता है. हम आंतकवाद के हर रूप का विरोध करते हैं. देश की सुरक्षा और स्थिरता के लिए चीनी सरकार रूसी सरकार के साथ खड़ी है."
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)
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किसने ली हमले की जिम्मेदारी ?
क्रॉकस सिटी हॉल में हमले की जिम्मेदारी इस्लामिक स्टेट के एक गुट, IS खुरासान प्रांत (IS-KP) ने ली है. इस गुट ने कहा कि जिन बंदूकधारियों ने मॉल में गोलीबारी की थी वह वहां से बच निकले थे. इस बीच अमेरिका ने कहा कि उसने रूस को ऐसे किसी हमले को लेकर पहले ही आगाह कर दिया था. अमेरिका ने कहा कि इस्लामिक स्टेट के दावों पर यकीन न करने की कोई वजह नहीं है. हालांकि रूस के शीर्ष अधिकारियों ने इस्लामिक स्टेट की ओर से हमले की जिम्मेदारी लेने पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है.
रूस के कई अधिकारियों ने आरोप लगाए हैं कि इस हमले यूक्रेन का भी हाथ है लेकिन यूक्रेन ने इस हमले में हाथ होने से इनकार कर दिया है.
इस्लामिक स्टेट खुरासान प्रांत अफगानिस्तान, पाकिस्तान और तुर्कमेनिस्तान के इलाके में सक्रिय है. इस समूह ने पाकिस्तान में भी कई फिदायीन हमले किए हैं. समूह के नाम अफगानिस्तान, पाकिस्तान और तुर्कमेनिस्तान से मिलकर बने एक इलाके के नाम पर रखा गया है. साल 2017 में भी रूस के सेंट पीटर्सबर्ग पर इस्लामिक स्टेट ने हमला किया था. इस हमले में 15 लोग मारे गए थे.
रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने क्या कहा?
व्लादिमीर पुतिन ने हमले के बाद कहा है कि हमलावरों ने यूक्रेन की ओर भागने की कोशिश की और जवाब में सुरक्षा कड़ी कर दी गई है. राष्ट्रपति ने कॉन्सर्ट हॉल पर हुए हमले को "बर्बर आतंकवादी कृत्य" बताया और कहा कि "हमारे दुश्मन हमें बांट नहीं सकते."
उन्होंने 24 मार्च को एक दिन के शोक की घोषणा की है.
राष्ट्रपति पुतिन ने साफ शब्दों में कहा है कि हमले के जिम्मेदार सभी लोगों को दंडित किया जाएगा.
रूसी राष्ट्रपति ने अपना भाषण जारी रखते हुए कहा कि सभी हमलावरों का पता लगा लिया गया है और अब उन्हें हिरासत में ले लिया गया है.
हमले की वजह क्या?
रूसी समाचार एजेंसी आरआईए नोवोस्ती ने एक वीडियो के हवाले से बताया है कि रूसी मॉल में हमले के आरोप में एक शख्स को हिरासत में लिया गया और उससे पूछताछ की गई. पूछताछ में शख्स ने बताया कि वह तुर्की से आया था. इसके अलावा हमले के आरोपी शख्स ने कहा कि उसे उसके आकाओं ने एक महीने पहले टेलीग्राम के जरिए संपर्क किया था और हथियार उपलब्ध कराए थे.
आरोपी शख्स ने ये भी बताया कि उसे लोगों को मारने के लिए दस लाख रूबल दिया गया था.
लेकिन इस हमले के पीछे क्या वजह हो सकती है?
अमेरिकी अखबार न्यूयॉर्क टाइम्स ने न्यूयॉर्क स्थित एक सुरक्षा परामर्श फर्म सौफान ग्रुप में एक आतंकवाद विरोधी विश्लेषक कॉलिन पी के मार्फत इस सवाल का जवाब दिया है.
कॉलिन ने कहा, "इस्लामिक स्टेट खुरासान की नजर पिछले दो साल से रूस पर थी. इस्लामिक स्टेट मानता है कि अफगानिस्तान, सीरिया, चेचनाया में रूसी दखल की वजह से रूस के हाथ खून से सने हैं."
रूस ने साल 2015 में बसर-अल-असद के कहने पर सीरिया में मिलिट्री ऑपरेशन की शुरुआत की थी. तब रूस ने असद सरकार को इस्लामिक स्टेट से बचाने के लिए स्पेशल मिलिट्री फोर्सेज, वाग्नर ग्रुप और सैन्य सलाहकारों को सीरिया भेजा था.
किन देशों ने दी प्रतिक्रिया?
प्रधानमंत्री मोदी ने मॉस्को हॉल में गोलीबारी और लोगों के हताहतों को लेकर संवेदना जाहिर की है. उन्होंने एक्स पर एक पोस्ट में लिखा, "मॉस्को में हुए जघन्य आंतकवादी हमले की हम कड़ी निंदा करते हैं. हमारी प्रार्थनाएं पीड़ितों के परिजनों के साथ हैं. दुख की इस घड़ी में भारत रूस की सरकार और वहां के लोगों के साथ खड़ा है."
चीन ने भी हमले पर चिंता जाहिर की है. चीन की सरकार समाचार एजेंसी शिन्हुआ ने खबर दी है कि चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग रूस में हुए हादसे को लेकर दुख जाहिर किया है.
शी जिनपिंग ने कहा, चीन रूस में हुए आंतकी हमले की कड़े शब्दों में निंदा करता है. हम आंतकवाद के हर रूप का विरोध करते हैं. देश की सुरक्षा और स्थिरता के लिए चीनी सरकार रूसी सरकार के साथ खड़ी है."
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