अमेरिकी सेना के हटने के साथ ही अफगानिस्तान (Afghanistan) के 50 से ज्यादा जिलों पर तालिबान (Taliban) ने कब्जा कर लिया है. तालिबान ने जिन इलाकों पर कब्जा किया है, वहां के लिए उसने नियम और कायदे भी जारी कर दिए हैं. इन नए कानूनों से तालिबान ने सबसे पहले तो महिलाओं की आजादी को छीन लिया है, इसी के साथ पुरुषों के लिए भी नए नियम जारी किए हैं.
हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, तालिबान ने अफगानिस्तान के उत्तरपूर्वी प्रांत तखर में हाल ही में कब्जा किए गए जिलों में नए कानून और नियम जारी किए हैं, जिसमें महिलाओं को अकेले घर से न निकलने और पुरुषों को दाढ़ी बढ़ाने का आदेश दिया गया है.
तखर के नागरिक समाज के कार्यकर्ताओं ने कहा कि तालिबान ने लड़कियों के लिए दहेज के नियम भी तय किए हैं.
"तालिबान ने एक बयान में महिलाओं पर एक रिश्तेदार के बिना घर से बाहर निकलने पर पाबंदी लगा दी है. साथ ही पुरुषों के लिए तालिबान ने दाढ़ी रखना अनिवार्य कर दिया है. तालिबान बिना सबूत के मुकदमे भी चलना शुरू कर रहा है"मेराजुद्दीन शरीफी, नागरिक समाज कार्यकर्ता, तखर
पहले भी तालिबान ने इस्लामी कानूनों को लागू किया था
तालिबान ने इससे पहले इस्लामी कानूनों को बेहद कठोरता से लागू किया था. तब तालिबान ने इस्लामी कानून के तहत लड़कियों कि पढाई को बंद करवा दिया था और महिलाओं को अकेले घरों से निकलने के लिए मना कर दिया था.
2001 में अमेरिकी सेना के अफगानिस्तान आने से पहले तालिबान ने पूरे अफगानिस्तान में जंगल राज कायम कर दिया था और नियमों का उल्लंघन करने वालों को जलील किया जाता था. महिलाओं को सड़कों पर मारा जाता था, और तालिबान कि इस्लामी पुलिस महिलाओं पर सख्ती से तालिबानी कानून लागू करती थी.
अफगानिस्तान पर तेजी से कब्जा कर रहें तालिबान संगठन
तालिबान ने नागरिकों और सरकारी सुरक्षा बलों के खिलाफ अपना आक्रमण तेज कर दिया है और देश भर के कई जिलों पर नियंत्रण कर लिया है क्योंकि विदेशी सेना युद्धग्रस्त देश से पीछे हट रही है. एरियाना न्यूज ने घटनाक्रम से परिचित लोगों का हवाला देते हुए बताया कि तालिबान ने 1 जुलाई को कपिसा प्रांत के तगाब जिले को भी जब्त कर लिया.
एरियाना न्यूज के मुताबिक, ताखर प्रांतीय परिषद के सदस्यों ने कहा कि तालिबान द्वारा कब्जा किए गए क्षेत्रों के निवासियों को अब खाना खाने के बदले भी तालिबानों को पैसे देने पड़ रहे हैं.
तखर के गवर्नर अब्दुल्ला कारलुक ने कहा कि तालिबान द्वारा सरकारी इमारतों को नष्ट कर दिया गया है और तालिबान द्वारा नियंत्रित क्षेत्रों में सेवाओं पर रोक लगा दी गयी है.
"तालिबान ने सब कुछ लूट लिया, और कोई सेवा मौजूद नहीं है"गवर्नर अब्दुल्ला कारलुक
एरियाना न्यूज के मुताबिक तालिबान ने दावों को खारिज कर दिया है और दावों को समूह के खिलाफ प्रोपगेंडा बताया है.
मई में, टॉप अमेरिकी विश्लेषकों ने चेतावनी दी थी कि अगर इस्लामी चरमपंथियों ने राष्ट्रीय सत्ता हासिल कर ली तो तालिबान अफगान महिलाओं के अधिकारों में हुई प्रगति को "बहुत पीछे ले जाएगा."
यूएस नेशनल इंटेलिजेंस काउंसिल के "सेंस ऑफ द कम्युनिटी मेमोरेंडम" में यह भी कहा गया है कि अमेरिका के नेतृत्व वाले सैन्य गठबंधन के हटने के बाद महिलाओं के अधिकारों को काफी ज्यादा खतरा होगा. काउंसिल ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि,
"तालिबान महिलाओं के अधिकारों को लेकर अपनी पुराने सोच पर टिका हुआ है और वो अगर एक बार फिर से सत्ता हासिल करता है तो, अफगानिस्तान में जंगल राज कायम हो जाएगा."
बता दें कि अफगानिस्तान में स्थिति कई हफ्तों से बिगड़ रही है और मई की शुरुआत से ही लड़ाई तेज हो गई है. तालिबान ने दावा किया है कि उसने हाल ही में पूरे अफगानिस्तान में 400 से अधिक जिलों में से 100 से अधिक पर कब्जा कर लिया है.
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