अमेरिका ने पाकिस्तान के खिलाफ कड़ा रवैया अपनाते हुए 30 करोड़ डॉलर की सैन्य मदद रोकने का फैसला लिया है.
रिपोर्टों के मुताबिक, हक्कानी नेटवर्क के खिलाफ पाक सेना द्वारा कार्रवाई न करने के चलते ये फैसला लिया गया है.
इसे अमेरिका की नाराजगी के तौर पर देखा जा रहा है. यह पैसा गठबंधन सहयोग कोष (सीएसएफ) के तहत पाकिस्तान को अमेरिका की तरफ से मिलता है.
संबंधों में आई खटास?
पाकिस्तान में सैन्य अभियानों के लिए अमेरिकी मदद को काफी अहम माना जाता है. इसके साथ ही यह फैसला वाशिंगटन और पाकिस्तान के बीच संबंधों में रूखेपन को उजागर करता है. अमेरिकी अधिकारी पाक सेना और आतंकवादियों की गठजोड़ से नाराज बताए जा रहे हैं.
पेंटागन का यह फैसला ऐसे समय में आया है, जब अफगानिस्तान में तालिबान फिर से सक्रिय हो गया है, जिसके चलते अमेरिकी सेना की पूर्ण वापसी रोकनी पड़ी है.
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